‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुंद, 3 जुलाई। बसना बीईओ एवं बीआरसी पर कई आरोप लगाकर शिक्षक संगठनों ने उन्हें हटाने की मांग की है। जिला स्तरीय अधिकारियों के समक्ष जाकर लिखित शिकायत एक जुलाई को प्रस्तुत की गई है। शिक्षकों का स्पष्ट कहना है कि इन दोनों के विरूद्ध कार्रवाई करके इन्हें नहीं हटाने पर शिक्षक संगठन एवं संकुल समन्वयक 5 जुलाई से समन्वयक से सबंधित कार्य नहीं करेंगे। साथ ही शाला का बहिष्कार भी करेंगे। मामले को बिगड़ते देख विजय लहरे जिला शिक्षा अधिकारी एवं रेखराज शर्मा जिला परियोजना समन्वयक (समग्र शिक्षा) 2 जुलाई को बसना पहुंचे थे।
अनिल सिंह साव अध्यक्ष शैक्षिक संकुल समन्वयक संघ, विजय घृतलहरे जिलाध्यक्ष छग प्रदेश संयुक्त शिक्षक संघ, नीलाम्बर नायक छग शिक्षक संघ, शरण दास अध्यक्ष सहायक शिक्षक फेडरेशन, गजेन्द्र नायक अध्यक्ष छग टीचर्स एसोसिएशन, वारिश कुमार, सुरेश प्रधान, त्रिकांत बाघ, विकास प्रधान, राजेश कुमार साहू, अरूण प्रधान, संतलाल चौहान, डीजेन्द्र कुर्रे, संतलाल पटेल, रोहित पटेल, संतराम बंजारा, अमित भोई, इन्दल पटेल, भूपेश पाढ़ी, अमृत लाल चौहान, परमानन्द कर्ष, पुरन्दर बंछोर, प्रफुल्ल साव, आरिफ बेग, संतलाल मुकर्जी, महेश नायक, धनश्याम साहू के हस्ताक्षर लिखित शिकायत में है।
शिकायत पत्र के अनुसार दोनों अधिकारी द्वारा समन्वयकोंं के साथ दबावपूर्वक रात में भी काम करवाने मजबूर किया जाता है।
समन्वयकों की नई नियुक्ति में नियमों को दरकिनार करके बगैर उच्च अधिकारी के अनुुशंसा प्राप्त किये मनमानी पूर्वक नियुक्ति किया गया है। प्राचार्य का प्रस्ताव व अनुशंसा को कोई अहमियत नहीं दी गई है। प्री-ऑडिट करने के आदेश निकाल करके पैसे की वसूली की गई है। बीआरसी बसना पूर्णानन्द मिश्रा के द्वारा प्रोटोकाल का पालन नहीं किया जाता है। मनमानी आदेश-निर्देश जारी करता है। विशेष करके अनुसूचित जाति वर्ग के समन्वयकों को हमेशा प्रताडि़त किया जाता है।