कोण्डागांव

ग्राम पंचायतों के देवगुड़ी व घोटुलों का होगा कायाकल्प
06-Jul-2021 8:37 PM
ग्राम पंचायतों के देवगुड़ी व घोटुलों का होगा कायाकल्प

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

कोण्डागांव, 6 जुलाई। कलेक्ट्रेट के सभागार में 6 जुलाई को जिले के पंचायतों के देवगुड़ी, घोटुलों के पुनर्निर्माण, विकास व सांस्कृतिक केन्द्र के रूप में विकसित करने के विषय पर सभी विकासखण्डों के मांझी, चालकी, पटेल, गायता व समाज प्रमुखों की बैठक का आयोजन किया गया था।

 परिचर्चा में हिस्सा लेते हुए क्षेत्र के विधायक मोहन मरकाम ने कहा कि बस्तर जिले में माता गुड़ी, देवगुड़ी व घोटुल की परम्परा सनातन काल से चली आ रही है। ये परम्पराएं आदिवासी समाज का प्रमुख सांस्कृतिक स्तंभ हैं। जिसके माध्यम से भावी पीढ़ी को प्राचीन, भौतिक, सामाजिक, आर्थिक ज्ञान दर्शन पीढ़ी दर पीढ़ी विरासत में हस्तांतरित की जाती रही है, इन धरोहरों के संरक्षण व संवर्धन के लिए राज्य शासन द्वारा देवगुड़ी व घोटुलों को फिर से एक सांस्कृतिक केन्द्र के रूप में विकसित करने की योजना है ताकि नई पीढ़ी भी अपनी इस संस्कृति के प्रति जागरूक व संरक्षण तो करे ही साथ ही अन्य क्षेत्र के लोग यहां की प्राचीन समृद्ध संस्कृति से परिचित हो सके।

ज्ञात हो कि राज्य शासन द्वारा जिले के सभी 383 पंचायतों में स्थित देवगुड़ी व घोटुल का आधुनिकीकरण करने की योजना है। इसमें देवगुड़ी के चारों ओर फेंसिंग, बाउण्ड्री वॉल का निर्माण किया जाएगा साथ ही इसके परिसरों में पेड़-पौधों के रोपण के साथ-साथ बैठक इत्यादि करने के लिए शेड, वाद्य यंत्र रखने के कक्ष, चबुतरे व प्रसाधन कक्ष, मार्ग इत्यादि का भी निर्माण किया जाएगा। इसके लिए शासन द्वारा प्रति देवगुड़ी 10 लाख का अनुदान भी स्वीकृत किये जायेंगे।

ज्ञात हो कि इन निर्माण कार्यों में जिले के समस्त देवगुड़ी के संरचनाओं व बनावट में एकरूपता रहेगी। इसके लिए जिला प्रशासन द्वारा नक्शा, खसरा, बी-1 व सीमांकन करवाने के साथ-साथ पंचायतों से जगह सुनिश्चित करने का भी आग्रह किया गया है। इस तरह पूरे जिले में एक समान देवगुड़ी व घोटुलों का निर्माण होगा। बैठक में निर्णय लिया गया कि इन देवगुडिय़ों को ‘जिमिदारिन मातागुड़ी‘ के नाम से जाना जाएगा। इस मौके पर विभिन्न ग्राम पंचायतों से आये मांझी, चालकी, पटेल व समाज प्रमुखों ने देवगुड़ी व घोटुल के बनावट व डिजाइन के संबंध में अपने-अपने सुझाव भी रखे। बैठक के अंत में जिला पंचायत अध्यक्ष देवचंद मातलाम ने कहा कि इन नवनिर्मित देवगुडिय़ों के रख-रखाव हेतु पंचायतों व ग्राम प्रमुखों को जिम्मेदारी दी जायेगी साथ ही उन्होंने उपस्थित जनों से कोरोना वैक्सीकरण के संबंध में अन्य ग्रामीण जनों को प्रेरित करने का भी आग्रह किया।

इस मौके पर सहायक आयुक्त आदिवासी विकास विभाग आरएस भोई, बुधराम नेताम, कार्यपालन अभियंता सचिन शर्मा सहित अन्य गांव के पटेल, मांझी वइदसमाज प्रमुख उपस्थित रहे।


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