धमतरी

1 से 6 तक शासकीय भवनों में की जाएगी रोशनी
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
धमतरी, 22 अक्टूबर। छत्तीसगढ़ का गठन 1 नवंबर 2000 को मध्यप्रदेश से अलग कर किया गया था। राज्य स्थापना दिवस पर जिला प्रशासन इस बार 5 नवंबर को राज्योत्सव मनाएगा, क्योंकि 1 और 2 नवंबर को दिवाली है। राज्योत्सव की तैयारी करने कलेक्टर नम्रता गांधी ने समीक्षा बैठक लेकर अधिकारियों को निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जिला मुख्यालय स्थित स्थानीय डॉ. शोभाराम देवांगन शासकीय उमावि के एकलव्य खेल परिसर में एक दिवसीय कार्यक्रम होगा।
कार्यक्रम स्थल पर विभिन्न विकास विभागों की विभागीय प्रदर्शनी में उपलब्धियों, महत्वपूर्ण योजनाओं व सफल परियोजनाओं को विशेष रूप से प्रदर्शित की जाएगी। इसके साथ ही 1 से 6 नवंबर तक सभी शासकीय भवनों में रोशनी करने के निर्देश दिए। उन्होंने बिजली विभाग को बिजली आपूर्ति बाधित ना हो, इसके लिए चेताया है। बैठक में सीईओ जिला पंचायत रोमा श्रीवास्तव, अपर कलेक्टर जीआर मरकाम समेत जिला स्तरीय अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।
धान खरीदी की गाइडलाइन का अध्ययन करने निर्देश
बैठक में कलेक्टर ने समर्थन मूल्य पर धान खरीदी की तैयारी की समीक्षा की। उन्होंने नोडल अधिकारियों को धान खरीदी की गाइडलाइन का अध्ययन कर लेने कहा, ताकि नियम प्रक्रिया के अनुरूप धान की खरीदी की जा सके। इसके साथ ही समिति प्रबंधकों से बात कर प्रकरणों की जानकारी लेने और धान खरीदी केन्द्रों में फ्लैक्स लगाने, मुनादी कराने, पेयजल, छाया इत्यादि की व्यवस्था सुनिश्चित करने कहा है। शासन के निर्देशानुसार खसरा नंबर के आधार पर ही धान खरीदी की जानी है, इसके मद्देनजर कलेक्टर ने खसरा नंबर की जांच पटवारी की उपस्थिति में करने के निर्देश संबंधित अधिकारियों को दिए। धान कटाई के बाद किसान खेतों में पैरा नहीं जलाएं, इस पर नजर रखने के निर्देश कृषि विभाग को दिए। ग्रीष्मकालीन धान के बदले दलहन, तिलहन को प्रोत्साहित करने के लिए आयोजित शिविर में किसानों के पंजीयन की स्थिति की जानकारी ली।
इन विभागों के कामों की समीक्षा हुई
आवास निर्माण के कार्यों को लक्ष्य के आधार पर शत-प्रतिशत पूरा करने कहा। मुख्यमंत्री जनदर्शन, कलेक्टर जनदर्शन, जिला स्तरीय जनसमस्या निवारण शिविरों में मिले आवेदनों के निराकरण की जानकारी ली। लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी, लोक निर्माण विभाग, शिक्षा, महिला व बाल विकास विभाग, खाद्य, जल संसाधन, क्रेडा, आदिवासी विकास विभाग, उद्यानिकी, मत्स्यपालन, पंचायत व ग्रामीण विकास विभाग इत्यादि की समीक्षा की और आवश्यक निर्देश अधिकारियों को दिए।