बालोद

एकता का संदेश देता बालोद का एक गांव बना मिसाल
27-Feb-2025 3:14 PM
एकता का संदेश देता बालोद का एक गांव बना मिसाल

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दल्लीराजहरा, 27 फरवरी।
सियासत में आजकल लाठी डंडे चल जाना आम बात है, वहीं छत्तीसगढ़ में एक ऐसा भी गांव है जो प्रेम और भाईचारे का संदेश पिछले कई साल से दे रहा है। यह बालोद का ग्राम पंचायत पिकरीपार है।

यहां पिछले दस साल से पंच और सरपंच का चुनाव निर्विरोध हो रहा है। चुनाव लडऩे के लिए न तो किसी को यहां सोचना पड़ता है न प्रचार में उतरने की तैयारी करनी पड़ती है। गांव के लोग आपस में पंच और सरपंच का नाम तय कर उसका ऐलान कर देते हैं।

पिकरीपार ग्राम पंचायत दे रहा संदेश
गांव वालों का कहना कि हमें आपस में लडऩा नहीं विकास का काम करना है। विकास का काम तभी होगा, जब हम आपस में लड़ेंगे नहीं और मिलकर काम करेंगे।

चुना है, जबकि सरपंच के रूप में महिला पंचशीला साहू को चुना है। पंच और सरपंच दोनों का कहना है कि हमें तो बस अपने ग्राम पंचायत के विकास का काम करना है।  गांव के लोगों ने जो जिम्मेदारी सौंपी है उसे निभाना है।

हमारी एकता बहुत बड़ी
स्थानीय महिला सावित्री साहू का कहना है कि हमारा गांव बहुत छोटा है लेकिन हमारी एकता बहुत बड़ी है। हमारे यहां पंच और सरपंच का चुनाव निर्विरोध होता है। हम सब मिलकर पंच और सरपंच का नाम तय कर लेते हैं। 

निर्विरोध चुने जाते हैं पंच सरपंच
पीतांबर देवांगन, वार्ड पंच का कहना है कि दोनों गांव के लोग मिलकर बैठक करते हैं. पंच और सरपंच का निर्विरोध चुनाव करते हैं. हम चाहते हैं इस तरह से पूरे देश में भाईचारा बना रहे।

सियासत पर नहीं विकास पर खर्च करते हैं
गांव वालों का कहना है कि हम लोग दूसरे ग्राम पंचायतों के लिए भी मिसाल हैं। हमारे यहां चुनाव को लेकर कोई सियासत नहीं होती है। हम लोग चुनाव के लिए एक पैसा भी खर्चा नहीं करते हैं। चुनाव का खर्चा हम लोग विकास के कामों में करते हैं। हम गांव वालों के बीच इतना बढिय़ा सामांजस्य है कि कभी कोई विवाद हमारे बीच नहीं होता है।

पूर्व सरपंच चंदा साहू का कहना है कि शांति के साथ हम लोगों ने पंच और सरपंच चुन लिए. गांव में शांति बने रहे यही हमारी सबसे अपील रहती है. सरकार का खर्च भी बचता है जो विकास कार्य में इस्तेमाल होता है।

नवनियुक्त सरपंच पंचशीला साहू का कहना है कि पिकरीपार और तिलखैरी दोनों गांवों के लोगों ने मिलकर मुझे सरपंच के लिए चुना है. गांव वालों के सहयोग से मिलकर मैं विकास का काम करुंगी।

सर्वसम्मति से लिया जाता है फैसला
ग्राम पंचायत के लोगों का कहना है कि हम हर विषय पर आपस में बात कर फैसला लेते हैं। पंच और सरपंच के साथ पूरी ग्राम पंचायत बैठती है और गांव के विकास पर जो सही होता है उसपर फैसला लिया जाता है। आपसी सामांजस्य के साथ हम लोग काम करते हैं। इस ग्राम पंचायत में कभी भी विवाद की स्थिति खड़ी नहीं होती है। पिछली बार हमने चंदा साहू को सरपंच चुना था। इस बार सर्वसम्मति से हमने पंचशीला को अपना सरपंच चुना है।
 

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