बिलासपुर
ठगों ने ज्यादा निवेश करने वालों को मलेशिया टूर कराया
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बिलासपुर, 3 अक्टूबर। क्रिप्टोकरेंसी निवेश के नाम पर एक बड़ा घोटाला सामने आया है। कथित क्रिप्टो प्लेटफॉर्म यो-एक्सचेंज ने सैकड़ों निवेशकों को रोजाना 1त्न मुनाफे और विदेश यात्रा का लालच देकर करोड़ों की ठगी की है। अब कंपनी से जुड़े सभी प्रमोटर फरार हैं और उनकी वेबसाइट भी बंद कर दी गई है।
बिलासपुर प्रेस क्लब में आयोजित पत्रकार वार्ता में पीडि़त निवेशक मनीराम पटेल ने बताया कि इस धोखाधड़ी की शुरुआत सोशल मीडिया से हुई। कोलकाता के एक युवक तापस के जरिए उनकी पहचान रांची निवासी शुभम सिंह से हुई, जिसने यो-एक्सचेंज नामक प्रोजेक्ट को पूरी तरह सुरक्षित और डिसेंट्रलाइज्ड बताते हुए निवेश करने के लिए प्रेरित किया। शुभ सिंह ने दावा किया था कि इस क्रिप्टो एक्सचेंज का ऑडिट विश्वविख्यात ब्लॉकचेन ऑडिटर कंपनी हैकन ने किया है।
निवेशकों से कहा गया कि यूएसडीटी डिजिटल करेंसी में निवेश करने पर प्रतिदिन 1 फीसदी का लाभ मिलेगा। इतना ही नहीं, 1500 डॉलर के निवेश पर मलेशिया यात्रा का मौका भी दिया गया। इस योजना के बाद कोरबा, रायपुर, बिलासपुर, भिलाई से लेकर चंडीगढ़ तक सैकड़ों लोग इस प्रोजेक्ट से जुड़ गए। ज़ूम मीटिंग्स और विभिन्न शहरों में आयोजित सभाओं के जरिए लोगों को भरोसे में लिया गया।
एक अगस्त 2025 को मलेशिया में एक बड़ा कार्यक्रम भी हुआ, जिसमें करीब 1100 निवेशक शामिल हुए। वहां दुबई और थाईलैंड यात्रा के नए ऑफर भी पेश किए गए, जिसके बाद निवेशकों की संख्या तेजी से बढ़ गई।
कुछ ही हफ्तों बाद कंपनी ने ‘सॉफ्टवेयर हैक’ और ‘तकनीकी खराबी’ का बहाना बनाकर निवेशकों को लाभ देना बंद कर दिया। इसके बाद वेबसाइट बंद कर दी गई और कंपनी के प्रमोटरों ने मोबाइल नंबर भी बदल लिए। इससे साफ हो गया कि यह पूरा मामला एक संगठित ठगी का हिस्सा था।
मनीराम पटेल ने इस मामले की शिकायत तारबाहर थाने में दर्ज कराई है। एसएसपी राजनेश सिंह के निर्देश पर पुलिस ने रांची निवासी जफर इमाम, गंगाधर कुमार, दिलेश्वर मुंडा, शादाब अंसारी, आकाश कुमार और शुभ सिंह के खिलाफ धारा 318(4), 3(5) बीएनएस के तहत अपराध दर्ज किया है। पीडि़त निवेशकों ने मांग की है कि प्रशासन दोषियों को जल्द गिरफ्तार कर कड़ी सजा दे, ताकि आम जनता को न्याय मिल सके।


