बेमेतरा

पोल्ट्रीफार्म प्रबन्धन ने पीडि़त परिवार को 5 लाख देने की घोषणा की, गांव के 10 को रोजगार का आश्वासन
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बेमेतरा, 27 अप्रैल। पोल्ट्री फार्म के वाहन से दुर्घटनाग्रस्त ग्रामीण लेख राम साहू ग्राम कुसमी की मौत हो गई। कुसमी के ग्रामीणों ने किसान नेता योगेश तिवारी के नेतृत्व में पोल्ट्री फार्म के सामने करीब 4 घण्टे प्रदर्शन किया।
इसके बाद पोल्ट्री फार्म प्रबंधन ने मृतक के परिजनों को पांच लाख रुपए मुआवजा देने की घोषणा की और तुरन्त दो लाख रुपए का चेक प्रदान किया।
इस दौरान जनपद सदस्य सरस्वती कमल किशोर, यामनी वैष्णव, सरपंच संतोष कुमार साहू, यशवंत मंडल, ताराचंद सेवक, उस्मान वेद, पूर्व संरपच बिसहुआ साहू,गोपाल प्रसाद साहू, पंच विष्णु देवानंद, पंच हनु राम साहू, मोती राम साहू, बोधन लाल साहू, ताराचंद सेवक, थाना राम साहू, मिलो राम साहू, गोपाल प्रसाद साहू, खिलावन साहू, उमाशंकर, दिलीप कुमार, विजय कुमार, सूरज साहू, बृजभूषण साहू, परिचय कुमार, संतु राम साहू, यशवंत साहू, रमेश, मनीष साहू, थान सिंह साहू आदि प्रदर्शन में शामिल हुए ।
किसान नेता ने बताया कि बीती रात करीब 8.30 बजे कुसमी निवासी लेखराम साहू सडक़ किनारे टहल रहा था, इस दरम्यान यूनिवर्सल हैचरी के तीन कर्मचारी मोटरसाइकिल में सवार होकर गांव से गुजर रहे थे, जहां लापरवाही पूर्वक वाहन चलाते हुए लेखराम को ठोकर मार दी। इस हादसे में लेखराम गम्भीर रूप से घायल हो गया। जिसे उपचार के लिए बेरला स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया, जहां डॉक्टर ने उसे मृत घोषित कर दिया। इस घटना के बाद पोल्ट्री फार्म प्रबंधन ने पीडि़त परिवार की मदद करने की बजाए चुप्पी साध ली।
इस सम्बंध में कुछ ग्रामीण पोल्ट्री फार्म पहुंचे, जहां ग्रामीणों के साथ दुव्र्यवहार किया गया। इसकी जानकारी ग्रामीणों ने किसान नेता योगेश तिवारी को दी। इसके बाद किसान नेता परिजन और ग्रामीणों के साथ पोल्ट्री फार्म पहुचे। जहां उन्होंने पीडि़त परिवार को आर्थिक मुआवजा और नौकरी देने की मांग को लेकर प्रदर्शन करने लगे। करीब चार घण्टे के प्रदर्शन के बाद प्रबंधन ने मांगों को मानते हुए, पीडि़त परिवार को 5 लाख रुपए आर्थिक मदद और परिवार के एक सदस्य को नौकरी देने की घोषणा की। इसके अलावा रोजगार में स्थानीय लोगों को प्राथमिकता देने का वादा किया गया और गांव के 10 लोगों को रोजगार देने का आश्वासन दिया।
बच्चों के सिर से पिता का साया उठा, बूढ़े माता पिता का सहारा छूटा
मृतक अपने माता पिता, दो बच्चे और भाई के परिवार का खर्च वहन करता था। परिवार में इकलौता कमाऊ सदस्य था। ऐसी स्थिति में परिवार पर दुखो का पहाड़ टूट पड़ा है। उसकी मौत से बच्चों के सिर से पिता का साया उठ गया। बूढ़े माता पिता का सहारा छूट गया। परिजनों का रो रो कर बुरा हाल था। वे मदद की गुहार लगा रहे थे। किसान नेता के प्रयास से मिली आर्थिक मदद से परिवार को काफी राहत मिलेगी।