बस्तर

पेड़ के नीचे बैठक करने को मजबूर, सामाजिक भवन के लिए बनाई रणनीति
03-Nov-2025 10:38 PM
 पेड़ के नीचे बैठक करने को मजबूर, सामाजिक भवन के लिए बनाई रणनीति

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

जगदलपुर, 3 नवंबर। बस्तर के क्षेत्र मधोता के शिव मंदिर प्रांगण में आयोजित धाकड़ समाज कल्याण समिति की महत्वपूर्ण बैठक में समाज के विभिन्न मुद्दों पर चर्चा की गई। बैठक में समाज में हो रहे गतिविधियों की जानकारी, शैक्षणिक सामाजिक जनगणना, सामाजिक कार्यों का आय व्यय लेखा-जोखा और मधोता खैरगुड़ा में धाकड़ समाज भवन के प्रस्ताव पर चर्चा की गई।

बस्तर ब्लॉक के क्षेत्र मधोता के खैरगुड़ा में शासकीय जमीन और भवन की मांग को लेकर धाकड़ समाज कल्याण समिति ने एक महत्वपूर्ण रणनीति बनाई है। समिति के पदाधिकारियों ने निर्णय लिया है कि वे जल्द ही कलेक्टर बस्तर, सांसद और विधायकों से मिलकर भवन के लिए गुहार लगाएंगे।

मधोता क्षेत्र अन्तर्गत आठ गांवों में निवास करने वाले धाकड़ समाज के लोगों को अपने सामाजिक बैठक के लिए उचित स्थान नहीं मिल पा रहा है। समाज के लोग क्षेत्रीय स्तर पर मधोता में बैठक आयोजित करते हैं, लेकिन भवन न होने के कारण उन्हें पेड़ के नीचे बैठक करने को मजबूर होना पड़ता है। समाज के लोगों ने अपनी मांग को लेकर आवाज उठाई है कि उन्हें अपने सामाजिक बैठक के लिए उचित स्थान मिलना चाहिए।

समाज के लोगों का कहना है कि भवन होने से उनके समाज के विकास में मदद मिलेगी। वे अपने बच्चों के लिए शिक्षा और स्वास्थ्य जैसी सुविधाओं के लिए भी प्रयास कर सकेंगे। समाज के लोगों ने सरकार से अनुरोध किया है कि वे उनके लिए भवन के निर्माण के लिए आवश्यक सहायता प्रदान करें। वे चाहते हैं कि उनके समाज के लोगों को भी समाज के अन्य वर्गों की तरह समान सुविधाएं मिल सकें। बैठक में बोदरा के डुमनी ठाकुर और उनके पति के बीच चल रहे विवाद के मामले में समाज ने दोनों पक्षों को समझाने की कोशिश की। समाज के पदाधिकारियों ने दोनों पक्षों से बातचीत की और उन्हें एक साथ रहने के लिए मनाने की कोशिश की, लेकिन दोनों ने अलग होने का फैसला किया है।

समाज के समझाने के बाद भी अलग होने का फैसला करने के बाद दोनों पक्षों ने अपनी सहमति दी है।

समाज ने दोनों पक्षों को चेतावनी दी है कि वे अपने फैसले पर कायम रहें और भविष्य में कोई भी दावा-आपत्ति न करें। समाज ने यह भी कहा है कि यदि कोई पक्ष अपने फैसले से मुकरता है, तो समाज द्वारा उसे मान्यता नहीं दी जाएगी। विवाह में भेंट स्वरूप दी गई सामग्री वापस करने की सहमति भी दी गई है। लडक़े पक्ष ने समाज के समक्ष सामग्री वापस करने की सहमति दी है।


अन्य पोस्ट