राजनांदगांव

नांदगांव लोस में चुनावी नतीजे किसी के भी पक्ष में आए रिकार्ड बनना तय
27-May-2024 12:12 PM
नांदगांव लोस में चुनावी नतीजे किसी के भी पक्ष में आए रिकार्ड बनना तय

भूपेश-संतोष की हार-जीत को लेकर बाजार में लग रही बोली

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

राजनांदगांव, 27 मई। राजनांदगांव लोकसभा के चुनावी नतीजों को लेकर उल्टी गिनती शुरू हो गई है। अगले महीने 4 जून को समूचे देशभर के चुनावी परिणाम समेत राजनांदगांव के नतीजे भी सामने आएंगे।  राजनांदगांव लोकसभा में चुनावी नतीजे किसी भी राजनीतिक दल के पक्ष में हो, लेकिन रिकार्ड बनना तय है। स्थानीय सट्टा बाजार में पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और मौजूदा सांसद व सांसद प्रत्याशी संतोष पांडेय की हार-जीत को लेकर बोली लग रही है। 

राजनीतिक रूप से यह चुनाव अब तक का सबसे रोमांचकारी रहा है। चुनावी परिणाम को लेकर भाजपा और कांग्रेस में अपने-अपने दावे हैं। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के लिए यह चुनाव उनकी नाक का सवाल बन गया है। जबकि भाजपा के संतोष पांडेय को लगातार दूसरी जीत से इतिहास बनाने का भरोसा है। पूर्व मुख्यमंत्री के ताबड़तोड़ चुनावी प्रचार के दौरों को देखकर भाजपा सन्न रह गई थी। वहीं कांग्रेस भाजपा की रणनीति का तोड़ प्रचार के दौरान ढूंढती रह गई।  

बताया जा रहा है कि चुनावी नतीजों में हार-जीत  किसी के भी पक्ष में आए यह तय है कि इस बार राजनांदगांव लोकसभा में नए रिकार्ड बनेंगे। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल अपनी जीत को लेकर आश्वस्त हैं। उनके जीतने की स्थिति में कांग्रेस 25 साल बाद संासदी वापस हासिल करेगी। जबकि पांडेय विजयी होने पर वह पूर्व सांसद शिवेन्द्र बहादुर के लगातार दूसरी बार जीत हासिल करने वाले पहले सांसद होंगे।  

भाजपा ने भी करीब ढ़ाई दशक बाद किसी सांसद को प्रत्याशी के रूप में रिपीट किया। ऐसे में दोनों दल में इतिहास बनाने की उम्मीद जगी है। 4 जून को चुनावी नतीजों के बाद राजनांदगांव लोकसभा में नए राजनीतिक समीकरण बनेंगे। भूपेश के पक्ष में परिणाम आने से उनका प्रदेश की सियासत में कद बढ़ेगा। जबकि पांडेय को जीत मिलने पर उनकी राष्ट्रीय राजनीति में पैठ और मजबूत होगी। कांग्रेस के भीतर बघेल के जीतने को लेकर व्यापक रणनीति भी तैयार हो रही है। पांडेय के दोबारा जीत हासिल करने पर उनके समर्थक और पार्टी नेता केन्द्रीय मंत्रिमंडल में उन्हें जगह मिलने की चर्चा कर रहे हैं। कांग्रेस-भाजपा के लिए यह चुनावी परिणाम दूरगामी राजनीति के लिहाज से काफी मायने रखता है। यह स्पष्ट है कि लोकसभा रण को फतह करने वाले प्रत्याशी राजनांदगांव लोकसभा का केंद्र बिन्दु होंगे।


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