रायपुर

आत्महत्या करने वाले कर्मचारी के परिजनों को भी मिलेगें 50 हजार अनुग्रह अनुदान
19-May-2025 10:39 PM
आत्महत्या करने वाले कर्मचारी के परिजनों को भी मिलेगें 50 हजार अनुग्रह अनुदान

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

रायपुर, 19 मई। वित्त विभाग ने शासकीय अधिकारी कर्मचारी की मृत्यु पर उनके आश्रित परिजनों को अनुग्रह राशि की स्वीकृति के डेढ़ दशक पुराने निर्देश संशोधित किए हैं। सेवारत की मृत्यु पर 50हजार दिए जाएंगे। इसमें आत्महत्या के प्रकरण में भी यही राशि दी जाएगी। मृतक के परिजनों को यह राशि 15 दिनों के भीतर दी जाएगी। यह आदेश वित्त सचिव मुकेश बंसल ने जारी किया है।

सभी  विभाग सचिव, विभागाध्यक्ष, कलेक्टरों  को भेजे आदेश में कहा कि शासकीय सेवक की सेवा में रहते हुए मृत्यु हो जाने की दशा में उनके आश्रितों को, मृतक शासकीय सेवक के छत्तीसगढ़ वेतन पुनरीक्षण नियम, 2009 के आधार पर बैंड वेतन में वेतन तथा ग्रेड पे के योग के छ: गुना के बराबर,द्ब अधिकतम रूपये 50,000/- (पचास हजार) की सीमा तक अनुग्रह अनुदान स्वीकृत किया जाए। शासकीय सेवक को एक वर्ष की नियमित सेवा पूर्ण करने पर अनुग्रह अनुदान की पात्रता होगी।  शासकीय सेवकों को यह अनुग्रह अनुदान तभी मिलेगा जब वह ड्यूटी पर हो, या

विधिवत् स्वीकृत अवकाश पर हो,  किसी केंद्रीय संस्थान में प्रतिनियुक्ति पर हो, या राज्य  शासन की ओर  किसी प्रशिक्षण में भेजा गया हो। या फिर  कार्य ग्रहण काल में हो। आत्महत्या करने वाले  शासकीय सेवक को परिजनों को भी लाभ मिलेगा क्योंकि आत्महत्या को भी इस उद्देश्य के लिये नैसर्गिक मृत्यु माना जायेगा। कर्तव्य से घर लौटते हुए दुर्घटना से या अन्य कारण से रास्ते में मृत्यु होने तथा सार्वजनिक अवकाश की अवधि में मृत्यु होने पर भी इसकी पात्रता होगी।

अनुग्रह अनुदान की पात्रता दिवंगत शासकीय सेवक के  पति या पत्नी, एक से अधिक विधवा जीवित होने की दशा में देय राशि उनके बीच बराबर हिस्से में बांटी जायेगी। मृतक के  ज्येष्ठ पुत्र, अविवाहित पुत्री,  अविवाहित कर्मा  पर आश्रित पिता/माता पात्र होंगे? यदि पति/पत्नी दोनो शासकीय सेवक हैं तो किसी एक की मृत्यु होने पर दूसरे को अनुग्रह राशि की पात्रता होगी। परिवार के किसी सदस्य के न होने पर कार्यालय प्रमुख की संतुष्टि पर परिवार के किसी निकटतम संबंधी को भुगतान किया जाएगा।

. अनुग्रह अनुदान का भुगतान मृत्यु के 15 दिनों के भीतर किया जायेगा।. यदि शासकीय सेवक राजपत्रित है तो उसके कार्यालय प्रमुख द तथा यदि अराजपत्रित है तो आहरण एवं संवितरण अधिकारी  अनुदान की स्वीकृति दी जायेगी।  यदि शासकीय सेवक स्वयं कार्यालय प्रमुख है तो नियंत्रण अधिकारी की  स्वीकृति पर  कार्यालय प्रमुख भुगतान करेंगे । सचिवालय के सभी श्रेणी के प्रकरणों में साप्रवि की स्वीकृति पर  मुख्य लेखाधिकारी  भुगतान करेंगे। प्रतिनियुक्ति या प्रशिक्षण पर भेजे गये शासकीय सेवक के प्रकरण में उनके कार्यालय प्रमुख भुगतान कर सकेंगे।


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