धमतरी

मंडप सजाकर जलाया चूल्हा, खौलते तेल में हाथ डालकर निकाले गर्म बड़े, एक-दूसरे के उपर रख लिया आशीर्वाद
25-May-2022 2:53 PM
मंडप सजाकर जलाया चूल्हा, खौलते तेल में हाथ डालकर निकाले गर्म बड़े, एक-दूसरे के उपर रख लिया आशीर्वाद

धुरी समाज में 150 साल से चली आ रही अनुठी परंपरा, बुजुर्गों की रस्म को वर्तमान युवा पीढ़ी भी निभा रहे

अजब-गजब परंपरा....

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
धमतरी,  25 मई।
जिले में धुरी समाज अपनी अनूठी परंपरा के लिए जानी जाती है। दरअसल इस समाज की परंपरा अन्य समाज की तुलना में अजब-गजब है। मंडप सजाकर चूल्हे जलाते है, फिर खौलते तेल में बड़ा को हाथ से निकाले गए। यहीं नहीं गर्म बड़ा को एक-दूसरे के उपर रखकर बुजुर्गों से आशीर्वाद भी ले रहे। कुरूद ब्लॉक के सिर्री में कुछ इसी तरह की परंपरा देखने को मिली।

सिर्री में रामेश्वर धुरी के बेटे गैंदलाल की शादी है। मंगलवार को करीब 150 साल से भी अधिक पुरानी परंपरा का निर्वहन हुआ। घर में मंडप सजाया। इसके बाद शाम को तेल-मैन के पहले मंडप के पास चूल्हा जलाकर बड़ा बनाया। खास बात यह कि इस बड़ा को खौलते तेल में डालकर हाथ से निकाली गई, लेकिन किसी भी व्यक्ति के हाथ को नुकसान नहीं पहुंचा।

ईष्ट देव भोलेनाथ को खुश करने विशेष पूजन
नंदुराम धुरी (60) ने बताया कि यह परंपरा 150 साल से भी अधिक समय से चली आ रही है। बुजुर्गों की परंपरा को किसी ने तोडऩे की हिम्मत नहीं की है। मंडप के बाद ईष्ट देव भगवान भोलेनाथ को खुश करने विशेष पूजन किया। मंडप के सामने आराध्य देवता को स्मरण पूजन कर गर्म कड़ाही में उबलते हुए तेल में बड़ा बनाया। फिर खौलते तेल में हाथ डालकर बड़ा निकाला गया। इसके बाद अपने बड़ों से आशीर्वाद लेने से पहले गर्म बड़ा शरीर के हाथ, सिर या पीठ पर रखकर रस्म निभाई।

जिलेभर में धुरी समाज के 2500 परिवार
जिलेभर में धुरी समाज के करीब 2500 परिवार है। इस अनूठी परंपरा में महिला, बच्चे व बड़े सभी शामिल हुए। सभी ने उत्साह से परंपरा का निर्वाहन किया। इस दौरान कुमारी धुरी, कौशल बाई, तिजू बाई, अश्वनी, रेखा बाई, रीना, अंजनी बाई, निशा, नीलम सहित धुरी समाज के लोग मौजूद थे।
 


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