दन्तेवाड़ा
भाजपा से आर सी नाहक, धर्मपाल मिश्रा, शैलेंद्र सिंह तो कांग्रेस से दिनेश को मिली हार
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
किरंदुल, 22 फरवरी। छत्तीसगढ़ राज्य की सबसे अमीर नगर पालिका में शुमार किरंदुल नगर पालिका परिषद के लिए आखिरकार किरंदुल की जनता ने मतदान के जरिये नगरीय सरकार के लिए अध्यक्ष और 18 वार्डों के लिए 18 पार्षदों का चयन कर ही लिया।
उल्लेखनीय है कि इस बार के पालिका चुनाव में अध्यक्ष पद महिला अनारक्षित रखा गया था, जिस कारण दिग्गज पुरूष नेताओं की नजऱ पार्षद बनकर उपाध्यक्ष पद हासिल करने की मंशा लिए हुए थे।
इस नगरीय निकाय चुनावों की खास बात यह रही कि किरंदुल नगरीय निकाय के चुनावी मैदान में कुछ ऐसे दिग्गज पुरूष नेता भी पार्षदों का चुनाव लड़ कर जीतने के बाद पालिका उपाध्यक्ष पद पाने की जुगत में लगे हुए थे। जिनको इस बार के पालिका चुनाव में जनता ने सिरे से नकार दिया ।
विदित हो कि भाजपा की ओर से इस बार किरंदुल भाजपा के वरिष्ठ नेता आरसी नाहक वार्ड नं 06 से पूरे लावलश्कर के साथ पार्षद जीतने की चाह के साथ चुनावी मैदान में डटे हुए थे, परंतु सीपीआई के प्रत्याशी के हाथों नाहक को हार का शिकार होना पड़ा। तो वहीं वार्ड नं 10 से पार्षद पद के लिए भाजपा का झंडा लेकर चुनावी मैदान में उतरे पूर्व मंडल अध्यक्ष धर्मपाल मिश्रा को भी कांग्रेस के एक दिग्गज नेता ने पटखनी दी ।
इसी क्रम में वार्ड नं 13 से भाजपा के प्रत्याशी पूर्व पालिकाध्यक्ष शैलेंद्र सिंह भी पार्षद बन कर पालिका उपाध्यक्ष के पद को पाने के लिए काफी उत्साहित नजऱ आ रहे थे, क्योंकि उनकी पत्नी भाजपा से अध्यक्ष पद की उम्मीदवारी भी कर रही थीं तो राजनीतिक गलियों में चल रही चर्चा के अनुसार शैलेंद्र सिंह चाहते थे कि पत्नी रूबी सिंह पालिकाध्यक्ष बन जाये और मंै पालिका उपाध्यक्ष। परंतु इस बार के पालिका चुनाव में वार्ड नं 13 से सीपीआई एवं श्रमिक संघ एटक के पूर्व अध्यक्ष ने पूर्व पालिकाध्यक्ष के समीकरण को फेल कर पार्षद चुनाव जीता।
इन सब के इतर वार्ड नं 17 के करीबन 4 कार्यकालों से कांग्रेस की टिकट पर जीत कर आने वाले पूर्व कांग्रेसी पार्षद के पालिका उपाध्यक्ष बनने के सपनों को भी एक निर्दलीय प्रत्याशी ने पार्षद पद जीत कर कांग्रेस प्रत्याशी के मंसूबों पर पानी फेर दिया ।