हजारों प्रकरणों पर हड़ताल के चलते नहीं हुई सुनवाई
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दुर्ग, 30 जुलाई। तहसीलदारों व नायब तहसीलदारों की हड़ताल लगातार दूसरे दिन भी जारी रही। संसाधनों की कमी को लेकर परेशान सात जिलों के तहसीलदारों ने आज दुर्ग संभाग मुख्यालय में प्रदर्शन किया। बुधवार 30 जुलाई को प्रदेश भर के तहसीलदार व नायब तहसीलदार अपनी 17 सूत्रीय मांगों को लेकर राजधानी रायपुर में हड़ताल करेंगे। अपनी मांगों को लेकर आंदोलन कर रहे तहसीलदारों ने संसाधन नहीं तो काम नहीं का ऐलान कर दिया है। नतीजन दो दिनों से हड़ताल के चलते तहसील मुख्यालय में कामकाज नहीं होने से अकेले दुर्ग जिले में हजारों प्रकरणों पर सुनवाई नहीं हो पाई है।
छग कनिष्ठ प्रशासनिक सेवा संघ के तहसीलदार, नायब तहसीलदार की आयोजित हड़ताल के द्वितीय दिवस का संभाग स्तरीय विरोध प्रदर्शन में मानपुर अंबागढ़ चौकी, राजनांदगांव, बेमेतरा, दुर्ग, बालोद, कवर्धा, खैरागढ़, छुईखदान, गंडई जिले के तहसीलदार, नायब तहसीलदार अपने 17 सूत्रीय मांगों को लेकर शामिल हुए। उन्होंने मांग किया कि तहसीलों में सेटअप के हिसाब से पदस्थापना संभव न हो तो लोक सेवा गारंटी के तहत समय सीमा की बाध्यता से उन्हें मुक्त किया जाए।
संघ के पदाधिकारियों ने कहा कि 17 सूत्रीय मांगों की पूर्ति को लेकर छत्तीसगढ़ कनिष्ठ प्रशासनिक सेवा संघ द्वारा पूर्व में भी विभाग एवं शासन को समय-समय पर विभिन्न समस्याओं से अवगत कराया गया है। विशेष रूप से तहसील कार्यालयों में पदस्थ तहसीलदारों को संसाधनों की अत्यंत कमी, मानवीय संसाधन, तकनीकी सुविधाएं, सुरक्षा, शासकीय वाहन एवं प्रशासनिक सहयोग की अनुपलब्धता से कार्य निष्पादन में गंभीर कठिनाइयां उत्पन्न हो रही हैं। इन विषयों को लेकर संघ द्वारा अनेक अवसरों पर ज्ञापन भी सौंपा। इसके बाद भी इस दिशा में कोई सकारात्मक पहल नहीं होने संघ के प्रांतीय इकाई के निर्णय अनुसार चरणबद्ध आंदोलन के तहत 21 से 26 जुलाई तक निजी संसाधनों से कार्य बंद रखा। वहीं सामूहिक अवकाश लेकर तीन दिवसीय विरोध प्रदर्शन के तहत पहले दिन जिला मुख्यालय में धरना प्रदर्शन किया गया।
आज संभागीय मुख्यालयों में प्रदर्शन किया 30 जुलाई को प्रदेश स्तर पर सामूहिक अवकाश लेकर राजधानी में धरना प्रदर्शन किया जाएगा। यदि उपरोक्त तिथियों तक भी समाधान हेतु कोई सार्थक पहल नहीं की जाती है, तो संघ द्वारा सर्वसम्मति से लिए गए निर्णय के अनुसार आगामी रणनीति के अंतर्गत अनिश्चितकालीन कार्य बहिष्कार का निर्णय लिया जा सकता है। इस दौरान संघ के प्रांतीय पदाधिकारी गुरुदत्त पंचभाए, जिला अध्यक्ष क्षमा यदु, गुलेश्वर नाथ खुटे, प्रफुल्ल गुप्ता, पंचराम सलामे सहित संभाग के सभी तहसीलों के तहसीलदार व नायब तहसीलदार मौजूद थे।
धरना प्रदर्शन में शामिल तहसीलदारों एवं नायब तहसीलदारों ने मांग किया कि सभी तहसील में कंप्यूटर ऑपरेटर, चपरासी, डब्ल्यूबीएन, केजीओ, नायब नाजिर, माल जमादार, भृत्य, वाहन चालक, राजस्व निरीक्षक एवं पटवारियों की पदस्थापना की जाए। तहसीलदार से डिप्टी कलेक्टर पद पर पदोन्नति प्रक्रिया सीधी भर्ती और पदोन्नति का अनुपात पूर्व की भांति 50-50 रखा जाए और पूर्व में की गई घोषणा का तत्काल क्रियान्वयन हो। नायब तहसीलदार पद को राजपत्रित करने की मांग इस आशय की पूर्व घोषणा का तत्काल क्रियान्वयन किया जाए।
तहसीलदार और नायब तहसीलदार के लंबित ग्रेड पे सुधार को शीघ्र किया जाए। सभी तहसीलों में कार्यवाही, प्रोटोकॉल एवं लॉ एंड ऑर्डर ड्यूटी हेतु शासकीय वाहन व चालक की व्यवस्था हो या वाहन भत्ता देवें। बिना वैध प्रक्रिया, नियमित आदेश या अभियोजन कार्रवाई से प्रभावित तहसीलदारों/ नायब तहसीलदारों को 15 दिवस में जांच पूर्ण कर बहाल किया जाए। न्यायालयीन प्रकरणों में आदेशों का पालन न्यायालयीन मामलों को जनशिकायत प्रणाली में स्वीकार न हो। बिना सक्षम न्यायालय की अनुमति के पारित आदेशों के विरुद्ध एफआईआर या मीडिया ट्रायल न हो। न्यायाधीश संरक्षण अधिनियम के तहत स्पष्ट निर्देश जारी हो।