बेमेतरा
फसलों का नहीं हो रहा पर्याप्त ग्रोथ, बीमारी की आशंका भी
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बेमेतरा, 1 जनवरी। रबी सीजन में अब तक कड़ाके की ठंड की स्थिति नहीं बनी है। इससे बेमौसम बदली व उमस भरे माहौल से छुटकारा नहीं मिल पा रहा है। वहीं रबी की खेती कर रहे किसानों के लिए भी यह अच्छा संकेत नहीं है। कड़ाके के ठंड नहीं पडऩे से गेहूं व चना समेत उन्हारी के तमाम फसलों में ग्रोथ अच्छी नहीं हो रही, वहीं बीमारी का खतरा भी बढ़ गया है।
उत्तर भारत की ठंडी हवाओं के कारण प्रदेश व जिले में कड़ाके की ठंड की स्थिति बनती है, लेकिन इस बार जिले में एक भी बार कड़ाके की ठंड की स्थिति नहीं बनी है। यह स्थिति कई दिनों से बनी हुई है। जिले के किसान रबी व साग-सब्जियों की खेती के लिहाज से इसे अच्छा नहीं मान हैं।
किसानों के मुताबिक रबी की फसलों में ठंड की स्थिति में जहां ग्रोथ अच्छी होती है, वहीं भिंडी को छोडक़र सब्जी सब्जियों में ज्यादा व मजबूत फल लगते हैं। यदि ठंड की स्थिति जल्द नहीं बनी तो रबी के साथ सब्जियों की पैदावार प्रभावित रहेगी।
फसलों को इस तरह नुकसान
अरहर -फसल अभी खेत में फूलने व फलने की स्थिति में हैं। बदली व उमस से पौधों के फूल झडऩे व फल में कीड़े लगने का खतरा रहता है। कड़ाके की ठंड नहीं होने के कारण जहां फूल और फल का ग्रोथ अच्छा नहीं हो रहा, वहीं कीट व्याधि की शिकायत भी सामने आ रही है।
चना व तिवरा -चना व तिवरा की फसल में इस समय खेत ग्रोथ की स्थिति में है। तिवरा में पखवाड़ेभर में फूल और फल आने लगेंगे। बदली व उमस भरे माहौल से इसका भी ग्रोथ प्रभावित होगा। फूल और फल भी झडऩे की शिकायत रहेगी। चने में कीड़े लगने का खतरा भी रहेगा।
धान व गेहूं -रबी में धान व गेहूं की जल्द बोवाई करने वाले किसानों को भी नुकसान होगा। जिन किसानों की फसल अभी अंकुरण व अथवा आगे की स्थिति में है। उनका ग्रोथ नहीं हो रहा। पेड़ों में कंसे नहीं आ रहे हैं।
साग-सब्जियां -साग सब्जियों की फसल के लिए भी कड़ाके की ठंड बेहद अनुकूल होती है। इससे अन्य फसलों की तरह साग-सब्जियों में भी अच्छी ग्रोथ होती है। सब्जियों के फल ज्यादा व परिपक्व आते हैं। इस सीजन में कीड़े की शिकायत रहती है, लेकिन कड़ाके की ठंड से इसका भी खतरा कम हो जाता है।


