बस्तर

कुंजेरास मुठभेड़ नहीं, निशस्त्र महिलाओं की हत्या
07-Nov-2021 5:51 PM
कुंजेरास मुठभेड़ नहीं, निशस्त्र महिलाओं की हत्या

नक्सली नेता साइनाथ ने जारी किया प्रेसनोट

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
जगदलपुर, 7 नवंबर।
नक्सलियों ने प्रेसनोट जारी कर कहा कि 31 अक्टूबर के दिन कुंजेरास में हुई घटना मुठभेड़ नहीं, सरकारी सशस्त्र डीआरजी बल द्वारा निशस्त्र महिलों पर की गई हत्याकाण्ड है।

दरभा डिवीजन कमेटी के सचिव साइनाथ ने जारी प्रेसनोट में कहा है कि हमारे कामरेडों ने आदिवासियों को सरकार द्वारा प्राप्त कानूनन अधिकारों के बारे में समझाते हुई, उनके क्रियावायना के लिए संगठित होने की आवश्यकता पर लोगों को जागरूकता कर रही है। उसी काम के लिए निकले हमारे निशस्त्र सिविल टीम पर 31/10/2021 के दिन डीआरजी सशस्त्र बल ने कुर्जरास के पास एकतरफा फायरिंग करके हत्या की, हालांकि उन्हें गिरफ्तार करने का मौका भी था।

पुलिस द्वारा की गई इस जघन्य हत्याकाण्ड में हमारे पीएलजीए के तीन महिला कामरेडों ने शहादत प्राप्त की। इसमें से एक गीता महकाम (एसीएम) मुण्डलावपास की हैं, 2009 में पेशेवार हुई पार्टी में मुख्य जिम्मेदारी निभाई। फिलहाल दरमा डिविजन डिएकेएमएस अध्यक्ष के रूप में काम कर रही थी। दूसरी महिला कामरेड ज्याति नूपों रेवाल पंचायत के निवासी 2010 में सेवार क्रांतिकारी बनी। 11 साल अनुभव प्राप्त इस कामरेड ने तीव्र अस्वस्थता दोलते हुई भी क्रांति के लिए अपनी भूमिका निभा रही थी। फिलहाल क्रांतिकारी चेतना नाट्य मंच अध्यक्ष के रूप में काम कर रही थी। तीसरा महिला कामरेड कोसी माड़वी बड़ेमुर्की निवासी 2013 में पीएलजीए में भर्ती हुई। पहली एलओएस में नरदस्य के रूप में काम करते हुये, बाद में नेतृत्व कामरेड के सुरक्षा गार्ट की भूमिका बाटदबू को भी निभाती थी। कामरेट कोसी के दीदी सुक्की गद्दारी कमलेश के साथ शादी की दोनो डिआरजी हत्यारे गेंग में काम कर रही हैं। परिवार में कुछ पुलिस साथ रहने से भी कामरेड कोसी ने जनता के लिए अपनी जान न्योछवरकी खून रिस्ता से ज्यादा वर्ग रिस्ता ही महान है करके साबित की।

 इन तीन महिला कामरेडों ने भी अपनी-अपनी अस्वस्थता के परवाह किये बिना पार्टी, जनता और क्रांतिकारी राजनीति पर अटल विश्वास रखते हुये पार्टी से दिया गया जिम्मेदारियों को क्रांतिकारी जिद और जोश के साथ निभा रही थी। इन तीन अनुभवी महिला कामरेडों को एक साथ खोजना दरमा डिविजन आंदोलन लिए बड़ा धक्का पहुंचा है। आखिरी सांस जनता के लिए अपनी जिंदंगी अर्पित की इन तीन महिला कामरेडों को क्रांतिकारी जनता दरमा डिविजन कमेटी विनम्रता से सिर झुकाकर श्रद्धा सुमन।

लूटी सरकारों ने एकतरफ आजादी अमृत महोत्सव, भारत अमृत महोत्सव, छत्तीसगढ़ स्थापन दिवस मनाते हैं। आदिवासियों को अधिकार के लिए मीठा-मीठा बात बोलते हैं। दूसरी तरफ आदिवासियों को विशेष दर्जा दिलाने वाले पेसा कानून का धज्जियां उड़ाते हुई। ग्राम सभा का अनुमति के बिना यहा के प्राकृतिक संसाधनों को अडानी, अंबानी मित्तल जैसे कारपोरेट घरानों का हाथों में सौंप रही हैं। अपनी अस्तित्व अस्मिता आत्मा सम्मान अधिकारों के लिए संगठित हो रही उत्पीडि़त जनता को कुचलने के लिए ही जनता के जबर्दस्त विरोध के बावजूद कारपोरेट घराने के सुरक्षा के लिए पुलिस कैम्प पर पुलिस कैम्प तैनात किया जा रहा है। अपनी ही सरकार द्वारा लगाया वीके अगल कमिशन सही रिपोर्ट पेश करने के बावजूद एडसमेटा, सरिकिनगुड़ा जैसे नरसंहारों को आजम दिया पुलिस वालों पर अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की। इसका मतलाव जनता पर जनता के लिए काम कर रहे कार्यकर्ताओं पर पुलिस द्वारा किया जा रहे हत्याकाण्ड को बढ़ावा दे रही हैं।

बुद्धीजीवियों, सामाजिक कार्यकर्ताओं लोकतंत्रवादीयों। कुंजेरास के समीप पुलिस द्वारा महिलाओं पर किया गया हत्याओं को निदां करें मूलवासी अपनी अधिकार प्राप्त करने के लिए अपनी बचाव अस्तित्व के लिए संघर्ष कर रहे हैं उसके सुर में अपना सुर मिलाइये कुजेरास हत्याकाण्ड पर न्यायिक जांच करने का दोषियों को सजा देने की मांग करेंगे।
 


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