बलौदा बाजार

बलौदाबाजार, 20 जुलाई। बीमा कम्पनी द्वारा एक्सीडेंटल कवर की बीमा क्षति राशि प्रदाय नहीं किये जाने के मामले में उपभोक्ता आयोग द्वारा बीमा कम्पनी को सेवा में कमी का दोषी मानते हुए बीमा क्षति की राशि 125,000 तथा अन्य व्यय प्रदाय किये जाने का आदेश पारित किया।
प्राप्त जानकारी के अनुसार आवेदक बोधराम टंडन ने एक्सिस बैंक बलौदाबाजार के माध्यम से स्वयं एवं अपने परिवार की सुरक्षा हेतु एक्सीडेंटल इंश्योरेंस प्रीमियम राशि देकर प्राप्त किया जिसमें बीमा पॉलिसी के अंतर्गत आवेदक उसकी पत्नी एवं उसके तीनो पुत्र को रिस्क कवर प्राप्त था।
मोटर दुर्घटना से आवेदक एवं उसके पुत्र को क्षति हुई जिसके क्लेम राशि प्राप्त किये जाने हेतु आवश्यक दस्तावेजों सहित बैंक के माध्यम से बीमा कम्पनी को जमा किया गया परंतु बीमा कंपनी के द्वारा आवेदक के पुत्र के वयस्क होने पर बीमा पॉलिसी का रिस्क समाप्त हो जाता है एवं विकलांगता प्रमाणपत्र की विश्वसनीयता संदेहास्पद होने का कथन करते हुए दावा निरस्त कर दिया गया।
आवेदक द्वारा जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग बलौदाबाजार में शिकायत प्रस्तुत किया गया।
आयोग के अध्यक्ष छमेश्वर लाल पटेल, सदस्य हरजीत चावला एवं शारदा सोनी ने पेश दस्तावेजो एवं बीमा पालिसी के नियमों का सूक्ष्मता से अध्ययन कर पाया कि वयस्क हो जाने एवं आश्रित्त न होने से क्षति प्राप्त करने का पात्र न होने बाबत किसी भी प्रकार की नियम एवं शर्त बीमा कंपनी द्वारा प्रस्तुत नहीं किया गया है। पॉलिसी घटना के समय प्रभावी थी तथा अवयस्क जानते हुये उक्त अवधि के लिये बीमा सुविधा प्रदान की थी। ऐसी दशा में वयस्क हो जाने पर उक्त बीमा को अभिखंडित स्वयं अवयस्क कर सकता था। बीमा कंपनी को सेवा में कमी का दोषी मानते हुए टाटा एआईजी जनरल इंश्योरेंस कम्पनी लिमिटेड इंदौर को बीमा क्षति की राशि 1,25,000 एवं मानसिक तथा आर्थिक क्षति के रूप में 10,000 एवं वाद व्यय के रूप में 5,000- रूपये आदेश दिनांक से 45 दिन के भीतर प्रदाय किये जाने का निर्णय सुनाया है।