सरगुजा

बच्चियों को बहला-फुसला मतांतरण की कोशिश, महिला पर एफआईआर
15-Sep-2025 10:45 PM
बच्चियों को बहला-फुसला मतांतरण की कोशिश, महिला पर एफआईआर

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

अंबिकापुर, 15 सितंबर। नाबालिग बच्चियों को बहला-फुसला मतांतरण की कोशिश के आरोप में मैनपाट कमलेश्वरपुर पुलिस ने महिला के विरुद्ध अपराध दर्ज कर लिया है।

धर्म रक्षा समिति के खंड संयोजक ग्राम केसरा निवासी दिलवर यादव की शिकायत पर कमलेश्वरपुर पुलिस ने मतांतरण के आरोप में धआरोपी महिला आरती मांझी के खिलाफ छत्तीसगढ़ धर्म स्वतंत्रता अधिनियम की धारा 5(क) तहत अपराध दर्ज किया है।

परिजनों का भी आरोप है कि आरती मांझी उनकी नाबालिग बच्चियों को बहला फुसला और प्रलोभन देकर धर्म परिवर्तन करने के मकसद से बरिमा चर्च ले जा रही थी। बरिमा में पथरई चर्च से जुड़े लोगों ने बपतिस्मा रखा था। आरती को 6 बच्चियों के साथ बरिमा प्रार्थना सभा जाते देख दिलवर यादव और अन्य युवकों ने उन्हें रोका। इस दौरान महिला ने स्वीकार किया कि उसने बच्चियों के परिजनों से अनुमति नहीं ली है।

धर्म रक्षा समिति के खंड संयोजक दिलबर यादव ने आरोप लगाते बताया कि आरती मांझी मैनपाट क्षेत्र में काफी दिनों से ईसाई समाज का प्रचार- प्रसार कर रही है। वह केसरा और सरभंजा ग्राम की 6 बच्चियों को 40-40 रुपए देकर बच्चियों को बहला-फुसलाकर प्रार्थना सभा में ले जाया करती है। ग्रामीणों ने अब प्रार्थना सभा में जाना बंद कर दिया तो वो बच्चों को पैसे देने का लालच देकर ले जाती है।

गौरतलब है कि सरगुजा जिला के मैनपाट में रविवार को धर्म रक्षा समिति के संयोजक दिलवर यादव ने ग्रामीणों के साथ मिलकर आरती मांझी नामक महिला को पकड़ा था। आरोपी महिला ग्राम सरभंजा और केसरा के मांझी परिवार के 6 बालिकाओं को बरिमा चर्च में बपतिस्मा कराने ले जा रही थी। जबकि इस मामले की जानकारी बच्चियों के परिजनों को भी नहीं थी। परिजनों को जब इसकी जानकारी मिली तो वे मामले को लेकर कमलेश्वरपुर थाने में रिपोर्ट दर्ज कराया है। पुलिस ने आरोपी महिला के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करते हुए छत्तीसगढ़ धर्म स्वतंत्रता अधिनियम की धारा 5(क) तहत अपराध दर्ज किया है।


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