राजनांदगांव
राजनांदगांव, 1 मार्च। वृन्दावन धाम श्री अग्रसेन भवन में अग्रवाल सभा, अग्रवाल महिला मंडल एवं अग्रवाल नवयुवक मंडल के तत्वावधान में आयोजित श्रीमद भागवत कथा के प्रथम दिवस शुक्रवार को व्यासपीठ पर विराजित भगवताचार्य पं. अर्पित भाई शर्मा ने कथा सुनाया। पं. शर्मा ने कहा कि कथा मनुष्यों के कल्याण के लिए है। सभी कथाएं व्यक्ति को गतार्थ स यथार्थ, श्रान्त से शांन्त की ओर एवं संसारी को कसारी की ओर ले जाती है। व्यक्ति के जीवन में किसी प्रकार के रस का स्वाद नहीं रहता, किसी प्रकल्प में विफल होने पर ग्रंथियों का सार प्रयोजन से भटक जाता है, तब गतार्थ बोझ लगता है। वहीं कथा यथार्थ की ओर ले जाती है। श्रान्त वह है जो थक गया हो, संसार की एक समस्या खत्म होने पर दूसरी को हल करते जीवन व्यतीत करता है। संसारिक प्रपंचों से पीडि़त हो जाता है।
उसे कथा शांत बनाती है। वहीं संसारी से भी अपने जीवन को साधने वाले को कुछ हासिल नहीं होता, ऐसे संसारी को कथा रूपी रस कंसारी अर्थात कंस जिसे अपना शत्रु समझता है, ऐसे कृष्ण का बनाती है।


