रायपुर

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर, 16 जुलाई। गोल्डन बुक ऑफ वल्र्ड रिकार्ड द्वारा शहीद वीरनारायण सिंह अवार्ड से सम्मानित डॉ. सुनील कालड़ा (संचालक-कालड़ा प्लास्टिक कॉस्मेटिक सर्जरी एवं बर्न सेंटर) को गोल्डन बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड से सम्मानित किया गया। यह जानकारी डॉ. सुनील कालड़ा ने दी, उन्होंने बताया कि निशुल्क 210 ट्रांसजेंडर सर्जरी के लिये उन्हें गोल्डन बुक ऑफ वल्र्ड रिकार्ड से सम्मानित किया गया।
प्रदेश के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय द्वारा गोल्डन बुक ऑफ वल्र्ड रिकार्ड से सम्मानित किया गया। यह अवार्ड लेते हुए डॉ. सुनील कालडा ने बताया कि विगत 35 वर्षों से वे अपने चौबे कालोनी स्थित कालड़ा प्लास्टिक कॉस्मेटिक सर्जरी एवं बर्न सेंटर व नवनिर्मित पचपेढ़ी नाका, कलर्स माल के पास स्थित अस्पताल (छग शासन व छत्तीसगढ़ विद्युत मंडल से मान्यता प्राप्त) में उपचार करते है। जिसमें सिर्फ अस्पताल व दवाई का ही खर्चा लेते है अपनी फीस नही लेते है
डॉ. सुनील कालड़ा ने बताया कि जेंडर डिस्फोरिया (ट्रांसजेंडर) होने पर एक लडक़े को लडक़ी बनने की चाहत होती है। ये एक तरह की मनोदशा है, वो खुद को मानसिक रूप से लडक़ी ही मानता है, वो अगर लडक़ी की तरह न रह पाए तो उसके लिए ये घुटन भरा जीवन होता है।
इसे ऐसे समझिए कि कोई सामान्य लडक़ा है अगर उसे जबरन लडक़ी की तरह रहने को कहा जाए तो उसे क्या फील होगा। इसी तरह जेंडर डिस्फोरिया में लडक़ा भले ही शारीरिक रूप से लडक़ा दिखे मगर वो दिलो-दिमाग से लडक़ी होता है। ऐसी स्थिति में इन लोगों को सेक्स चेंज करना होता है।
सर्जरी कराने वालों का बढ़ रहा सोशल एडॉप्शन: सेक्स चेंज करवाने या सर्जरी कराने वालों को पहले लोग हीन भावना से देखते है, लेकिन आधुनिकता के साथ इसका सोशल एडॉप्शन हो रहा है। छत्तीसगढ़ में अब सरकारी विभागों में नौकरी भी दी जा रही है। यह एडॉप्शन की दिशा में एक बड़ा कदम है।