रायपुर

नरेंद्र को विवेकानंद बनाने में रायपुर का बड़ा योगदान
12-Jan-2023 6:44 PM
नरेंद्र को विवेकानंद बनाने में रायपुर का बड़ा योगदान

डे भवन 4 करोड़ में बनेगा विवेकानंद स्मारक

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

रायपुर, 12 जनवरी। सीएम भूपेश बघेल ने डे भवन को विवेकानंद स्मारक के रूप में संरक्षित करने के कार्य का शुभारंभ करते हुए शिलालेख का अनावरण किया। स्वामी विवेकानंद की स्मृति को सहेजने के लिए डे भवन को चार करोड़ रुपए की लागत से विवेकानंद स्मारक के रूप विकसित किया जाएगा।

डे भवन में संचालित स्कूल के लिए पृथक से लगभग ढाई करोड़ की लागत से भवन निर्मित किया गया है।कार्यक्रम की अध्यक्षता रामकृष्ण मिशन विवेकानंद शैक्षणिक एवं अनुसंधान संस्थान, बेलूर पश्चिम बंगाल के कुलपति स्वामी सर्वोत्तमानंद महाराज कर रहे हैं। कार्यक्रम में  संस्कृति मंत्री अमरजीत भगत, संसदीय सचिव विकास उपाध्याय, भूतनाथ डे चेरिटेबल ट्रस्ट के अध्यक्ष डॉ. एच.एस. उपाध्याय, विधायक सत्यनारायण शर्मा,  कुलदीप जुनेजा, महापौर  एजाज ढेबर, सभापति  प्रमोद दुबे भी  उपस्थित रहे।  अपने संबोधन में सीएम बघेल ने कहा कि नरेंद्र को स्वामी विवेकानंद बनाने में रायपुर का बड़ा योगदान है।

उन्होंने अपने जीवन की किशोरावस्था 12 वर्ष से 14 वर्ष का समय रायपुर में बिताया।स्वामी विवेकानंद की स्मृतियों को सहेजने रायपुर के एयर पोर्ट का नामकरण स्वामी विवेकानंद के नाम पर किया गया है। स्वामी विवेकानन्द जी के विचारों ने संपूर्ण समाज को एक नई दिशा दी।उन्होंने देश-दुनिया को मानव जाति की सेवा का मार्ग दिखाया।

स्वामीजी ने युवाओं को  ‘उठो, जागो और तब तक नहीं रूको जब तक लक्ष्य प्राप्त न हो जाये‘ का संदेश दिया। छत्तीसगढ़ में जो महापुरुष आए उन से सम्बंधित स्थलों को विकसित करने का प्रयास किया जा रहा है। स्वामी विवेकानन्द जी के विचारों ने संपूर्ण समाज को एक नई दिशा दी । उन्होंने देश-दुनिया को मानव जाति की सेवा का मार्ग दिखाया।

छत्तीसगढ़ के लिए सम्मान और गर्व की बात है कि स्वामी विवेकानंद जी के बचपन का कुछ समय रायपुर में बीता। राज्य सरकार रायपुर में बसी स्वामी जी की यादों को सहेजने और संवारने का प्रयास कर रही है।

मुख्यमंत्री बघेल ने  निगम गार्डन के समीप  भूतनाथ डे चैरिटेबल ट्रस्ट द्वारा संचालित हरिनाथ एकेडेमी इंग्लिश हायर सेकेंडरी स्कूल के नए भवन का लोकार्पण किया।यह स्कूल डे भवन में संचालित हो रहा था। स्कूल भवन का निर्माण ढाई करोड़ रुपए की लागत से किया गया है।


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