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बिल का भुगतान नहीं होने पर युवक का शव देने से इनकार, निजी अस्पताल में हंगामा
26-Oct-2025 8:10 PM
 बिल का भुगतान नहीं होने पर युवक का शव देने से इनकार, निजी अस्पताल में हंगामा

जयपुर, 26 अक्टूबर। राजस्थान की राजधानी जयपुर के एक निजी अस्पताल में रविवार को उस समय तनाव की स्थिति बन गई जब एक परिवार ने आरोप लगाया कि अस्पताल प्रशासन बकाया बिल को लेकर उनके एक परिजन का शव नहीं दे रहा है।

परिजनों ने आरोप लगाया कि अस्पताल ने 1.75 लाख रुपये के बकाया बिल का भुगतान न करने पर युवक का शव देने से इनकार कर दिया।

उन्होंने इस मामले को राजस्थान के कृषि मंत्री किरोड़ी लाल मीणा के संज्ञान में लाया जो बाद में अस्पताल पहुंचे। परिजनों ने अस्पताल प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की। मंत्री के हस्तक्षेप के बाद शव परिवार को सौंप दिया गया।

दौसा जिले के विक्रम मीणा (42) को महवा में सड़क दुर्घटना में घायल होने के बाद 13 अक्टूबर को अस्पताल में भर्ती कराया गया था।

विक्रम के रिश्तेदार जगराम मीणा ने कहा, "अस्पताल ने उन्हें आयुष्मान भारत और राज्य की मुख्यमंत्री चिरंजीवी योजना के तहत भर्ती करने से यह कहते हुए इनकार कर दिया कि वे केवल नकद भुगतान स्वीकार करते हैं। 13 दिनों में बिल आठ लाख रुपये से ज़्यादा हो गया।"

उन्होंने आरोप लगाया कि शनिवार को विक्रम की मौत के बाद अस्पताल ने शव देने से पहले बकाया भुगतान की मांग की।

जगराम ने कहा, "हमने पहले ही 6.39 लाख रुपये जमा कर दिए थे।"

मंत्री किरोड़ी लाल मीणा ने कहा कि राज्य के निजी अस्पताल पंजीकृत होने के बावजूद मरीजों को सरकारी स्वास्थ्य योजनाओं का लाभ नहीं दे रहे हैं।

मंत्री ने कहा, "मैं मानता हूं कि हमारी सरकार का निगरानी तंत्र कमजोर है। मैंने इस संबंध में मुख्य सचिव से बात की है।"

दूसरी ओर, अस्पताल प्रशासन ने कहा कि विक्रम मीणा का आयुष्मान कार्ड चालू नहीं था, इसलिए योजना के तहत उनका इलाज संभव नहीं था और यह बात उनके परिवार के सदस्यों को भी बता दी गई थी।

अस्पताल के एक अधिकारी ने कहा, "परिवार नकद इलाज के लिए सहमत हो गया था। चूंकि कार्ड चालू नहीं था, इसलिए मुफ्त इलाज संभव नहीं था।"

उन्होंने कहा कि बकाया राशि का भुगतान किए बिना ही शव परिजनों को सौंप दिया गया। (भाषा)


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