गरियाबंद

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
नवापारा-राजिम, 9 जून। समीपस्थ सोनेसिल्ली में वर्षों से काबिज अतिक्रमण को प्रशासन ने हटाया। सोमवार से प्रारम्भ हुआ कब्जा हटाने का सिलसिला दूसरे दिन मंगलवार तक जारी रहा। इस दौरान कब्जाधारी किसान व प्रशासन के बीच जमकर नोकझोंक भी हुई, लेकिन प्रशासन ने अतिक्रमणकारियों से लगभग 100 एकड़ से भी ज्यादा शासकीय जमीन से अतिक्रमण हटाया। इस जमीन पर वर्ष 1970 से गांव के 23 लोगों का कब्जा था और वे इस पर खेती करते आ रहे थे, जिनकी अब कुल संख्या 58 जा पहुंची थीं। इस वर्ष भी अतिक्रमणकारियों ने खरीफ फसल की खेती के लिए जोताई कर ली थी।
सोमवार सुबह 11 बजे जैसे ही राजस्व विभाग की टीम भारी संख्या में पुलिस बल लेकर सोनेसिल्ली के अतिक्रमण स्थल पहुंची, वैसे ही अतिक्रमणकारी मौके पर पहुंच गए और एसडीएम साहू को कोर्ट में याचिका लगी होने व बिना किसी पूर्व सूचना के अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही का विरोध करने लगे। लेकिन एसडीएम ने नियमत: अतिक्रमण हटाए जाने की बात कही। लगभग 2 घंटे तक किसी भी प्रकार की सुनवाई नहीं होने पर अतिक्रमणकारी विभिन्न साधनों से विधायक धनेन्द्र साहू के तोरला स्थित गृह निवास पहुँच गए, लेकिन विधायक साहू निवास में मौजूद नहीं थे। विधायक निवास में काफी देर इंतजार करने और विधायक साहू द्वारा फोन नहीं उठाये जाने से नाराज ग्रामीणों ने हंगामा मचाना शुरू कर दिया।
पुलिस के हस्तक्षेप के बाद सभी, विधायक निवास से गांव की गलियों से विधायक विरोधी नारेबाजी करते हुए ग्राम के बस स्टैंड पहुंचे और नवापारा-आरंग मुख्य मार्ग पर चक्काजाम करते हुए बैठ गए। यह देख पुलिस ने उन्हें समझाते हुए उठाकर जाम हटवाया। इसके बाद प्रदर्शनकारी सडक़ किनारे धरना-प्रदर्शन करते हुए फिर से नारेबाजी करने लगे। मौके पर उपस्थित तहसीलदार के.के. साहू ने काफी देर बाद किसी तरह प्रदर्शनकारियों को समझाकर प्रदर्शन समाप्त करवाया, जिसके बाद सभी लौट गए।
तहसीलदार के.के. साहू ने बताया कि सोनेसिली में अतिक्रमित सैकड़ों एकड़ जमीन को छुड़ा लिया गया। तहसीलदार ने बताया कि उक्त कार्रवाई के पूर्व सभी अतिक्रमणकारियों को नोटिस जारी किया गया, पश्चात यह कार्रवाई की गई। कार्रवाई के दौरान तहसीलदार कृष्ण कुमार साहू के अलावा नायब तहसीलदार लखेश्वर किरण, टीआई कृष्ण चंद्र सिदार, उप निरिक्षक श्रवण मिश्रा, सरपंच प्रतिनिधि अजय साहू, उपसरपंच सहित अनेको लोग उपस्थित थे।
सीएम व कृषि मंत्री से न्याय की गुहार
इस पूरे मामले में कब्जाधारी किसानों का कहना है कि यहाँ पर पिछले कई वर्षों से खेती करते आ रहे थे। बंजर पथरीली भूमि को कृषि भूमि बनाने में उनका जीवन निकल गया। यह भूमि ही उनका परिवार का भरण पोषण का साधन था। इससे जुड़े मामले का सुनवाई होना अभी बाकी था। प्रशासन द्वारा बिना कोई नोटिस दिए कार्रवाई करना अनुचित है। इस मामले में मौके पर मौजूद जिम्मेदार अधिकारियों से बातचीत करना चाहते हैं तो वो सुनने को तैयार नहीं है। ऐसे में सभी किसानों व ग्रामीणों ने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल व कृषि मंत्री रविंद्र चौबे से पूरे मामले में संज्ञान लेते हुए न्याय दिलाने की मांग की है।
गोठान सहित अन्य शासकीय योजनाओं के लिए जगह का अभाव
इस पूरे मामले में गाँव के सरपंच प्रतिनिधि अजय साहू ने कहा कि गाँव में अतिक्रमण के चलते गोठान सहित प्रदेश सरकार की अन्य योजनाओ और शासकीय योजनाओ के लिए जगह का अभाव था। लिहाजा अतिक्रमण हटाना बेहद जरुरी हो गया था, जिस पर सभी की सहमति से यह अतिक्रमण हटवाने प्रशासन की मदद मांगी गई। जिसमें आज सफलता पाई गई। जल्द ही इस जगह पर शासन प्रशासन की योजनाए सुचारू रूप से चलेगा।