धमतरी

नहर के कटाव पर मिट्टी डाली, सिंचाई के लिए छोड़ा पानी, 5 हजार एकड़ फसल मरने से बचेंगी
06-Aug-2022 5:30 PM
नहर के कटाव पर मिट्टी डाली, सिंचाई के लिए छोड़ा पानी, 5 हजार एकड़ फसल मरने से बचेंगी

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
 धमतरी, 6 अगस्त।
गंगरेल बांध की मुख्य नहर की शाखा नहर क्रमांक 1 को 5 जगहों पर काटा गया था। शुक्रवार को जल संसाधन विभाग के अफसरों ने मौके पर खड़े होकर कटाव स्थल पर मिट्टी डलवाई। मरम्मत के बाद नहर में पानी सिंचाई के लिए छोड़ा गया। अब 100 गांव की करीब 5 हजार एकड़ फसल मरने से बच जाएगी।

शुक्रवार को कार्यपालन अभियंता महानदी जलाशय परियोजना कोड- 2 के एके पालडिय़ा सहित अन्य अफसर आए। मिट्टी डलवाकर कटी नहर की मरम्मत करवाई। इसके बाद दोपहर 2.37 बजे पानी सिंचाई के लिए छोड़ा गया। एफआईआर भी कराई जा रही है। इसके लिए विभाग द्वारा अज्ञात द्वारा नहर काटे जाने की बात कहते हुए कोतवाली में पत्र दिया है।

बठेना नहर व संबलपुर नहर को काटा
जानकारी के मुताबिक जुलाई में हुई बारिश से शहर में खूब पानी भरा। जलभराव से बचने के लिए बठेना नहर व जबलपुर की ओर जाने वाली नहर को काट दिया गया। इन नहरों से धमतरी से कुरूद तक बसे गांव व उनकी जमीन के लिए पानी दिया जाता है। बीते 15 दिन से अच्छी बारिश नहीं होने से खेत सूखने लगे थे। ऐसे में किसान बांध से पानी छोडऩे की मांग करते रहे, लेकिन नहर कट जाने के कारण जल संसाधन विभाग ने पानी देने में असमर्थता जताई थी।

5 जगह नहर काटी, काटने वालों का पता नहीं
सिंचाई अधिनियम 1931 की धारा 95 व 96 के तहत नहर काटना अपराध है। दोषियों को जेल तक हो सकती है। अधिनियम के मुताबिक तहत नहर को काटना, उसे नुकसान पहुंचाना, नहर को आगे बढ़ाना या उसके स्वरूप में परिवर्तन करना अपराध है। इसके लिए कारावास व जुर्माना या दोनों हो सकते हैं। दोषी को नुकसान की भरपाई के लिए भी आदेश दिया जा सकता है, लेकिन नहर किसने काटी, अफसर यह पता नहीं कर पा रहे हैं।
 


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