‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बेमेतरा, 11 दिसंबर। जिला के धान खरीदी केन्द्रों में धान का उठाव कम होने से धान खरीदी केन्द्र बेमेतरा, लोलेसरा, कंतेली सहित कई केन्द्रों में जाम की स्थिति है। 14 नंवबर से प्रारंभ हुए धान खरीदी के बाद से अब तक केवल 6.28 फीसदी धान का परिवहन हुआ है। खरीदी केन्द्रों में 3076526 क्विंटल धान का भंडारण है। उठाव नहीं होने से परेशान होकर कर्मचारियों ने संगठन की शरण ली है। इसके बाद संगठन द्वारा परिवहन नहीं होने की स्थिति में खरीदी बंद करने की घोषणा तक कर दी गई है।
पूर्व में हुए धान खरीदी की तरह इस बार भी पहले बारदाना फिर संतोषजनक परिवहन नहीं होने की वजह से उपार्जन केन्द्रों की व्यवस्था गड़बड़ाने लगी है। जिला के 129 धान खरीदी केन्द्रों में 14 नवंबर से अब तक 3282659 क्विंटल धान खरीदा गया है। जिसमें से 206132 क्विंटल धान का उठाव हो चुका है। उठाव होने के बाद से 129 धान खरीदी सेन्टरों में 3076526 क्विंटल धान का भंडारण बचा हुआ है। पत्रिका ने जिला मुख्यालय व जिला मुख्यालय के आसपास संचालित हो रहे धान खरीदी केन्द्रों का जायजा लिया। बेमेतरा धान खरीदी केन्द्र में प्रारंभ से लेकर अब तक 32841 विक्टंल धान खरीदा गया। जिसमें से एक दाना धान का उठाव तक नहीं हुआ है। लोलेसरा धान खरीदी केन्द्र में 33224 क्विंटल धान खरीदा गया जिसमें से 3453 क्विंटल धान का उठाव किया गया है। अभी भी केन्द्र में 29770 क्विंटल धान का स्टाक है। कंतेली धान खरीदी केन्द्र में उठाव के बाद 342940 क्विंटल धान शेष है।
29 धान खरीदी केन्द्रों में उठाव की स्थिति जीरो
अब तक 6.28 फीसदी धान परिवहन हुआ है इसकी वजह से हालात बिगडऩे का अंदेशा जताया जा रहा है। सबसे अधिक बुरी स्थिति 29 धान खरीदी केंन्द्रों की है जहां पर प्रारंभ से लेकर आज दिनांक तक एक बोरा बारदाना का उठाव नहीं हुआ है। यू कहे तो परिवहनकर्ता को जिला विपणन अधिकारी द्वारा अभी इन 29 केन्द्रों के लिए परिवहन आदेश जारी नहीं किया गय है। परिवहन नहीं होने की वजह से उपार्जन केन्द्र बेमेतरा, बारगांव, गुजेरा, मोहतरासाजा, सहसपुर, गोड़गिरी, खुडमुडा, टकसीवा, कुसमी, पदमी, मारो, गोढ़ीकला, साजा, जानो, तेन्दुआ, केषडबरी, आंनदगांव, कोगियाकला, अछोली, हरदी, कुम्ही, बसनी, जंगलपुर, लुक, राखी, मासूलगोदी, भदराली, पदमी व सुरहोली अधिक प्रभावित है। जिला किसान संघ अध्यक्ष रामसहाय वर्मा ने कहा कि उठाव नही होने का नुकसान किसानों को सबसे अधिक हो रहा है। आने वाले समय में धान खरीदी बंद होती है तो किसान सबसे अधिक परेशान होंगें।
ज्ञापन सौंपा गया है बंद करेंगे धान खरीदी
सहकारी समिति कर्मचारी संघ द्वारा केन्द्रों में व्याप्त स्थिति को लेकर सक्षम अधिकारी को ज्ञापन सौंपा गया है। रातोरात हालत में सुधार नहीं किया गया तो 11 तारीख से धान खरीदी बंद करने का निर्णय लिया गया है। जिला अध्यक्ष जगमोहित साहू ने कहा कि जिस तरह से कछुआ चाल से परिवहन किया जा रहा है वह केवल खानापूर्ति ही है। बफर लिमिट से अधिक वाले समितियों को बारिश या अन्य मौसमी कारण की वजह से सुरक्षा को लेकर अधिक व्यय करना पड़ रहा है। हालात को देखते हुए ज्ञापन सौंपकर बंद करने की सूचना दिया गया है। इसके बाद अधिकारियों ने 24 घंटे में अधिक से अधिक परिवहन कराने का भरोसा दिया गया है। वहीं अधिक प्रभावित कई केन्द्रों में कार्यालय के बाहर धान खरीदी बंद रहने का बोर्ड चस्पा कर दिया गया है।
जिला मुख्यालय से 14 किमी दूर ग्राम सरदा के पास धान संग्रहण किया जा रहा है। विपणन कार्यालय के मातहत इस यूनिट के सामने भारी संख्या में धान से भरे वाहनों की कतार लग रही है। धान से भरे कई वाहन चालक 24 घंटे से अधिक समय से अनलोड कराने के लिए इंतजार कर रहे। बावजूद वाहन खाली नहीं हो रहा है। वाहन चालकों ने बताया कि धान खाली नहीं होने की वजह से वे केन्द्र में जाकर धान नहीं ला पा रहे हैं जिससे उनको नुकसान हो रहा है। सरदा के ग्रामीणों ने बताया कि इस तरह से सडक़ पर कतार में खड़े वाहन की वजह से दुर्घटना होने का खतरा बना रहता है। बहरहाल केवल 6.28 फीसदी परिवहन होने की वजह से केन्द्रों में बफर लिमिट से अधिक भंडारण हो चुका है। कई केन्द्रो में डबल का आंकड़ा पार हो चुका है। हालात को देखते हुए नवागढ़ समेत कई केन्द्रों से टोकन लेने वाले किसानों को धान लेकर केन्द्र तक नहीं आने के लिए सूचना जारी कर दी गई है।
जिला नोडल अधिकारी आरके वारे ने कहा कि धान परिवाहन नहीं होने से कई तरह की समस्या होने लगी है। संगठन वालों को समझाया जा रहा है।