बेमेतरा
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बेमेतरा, 8 फरवरी। नेशनल लोक अदालत के सफल आयोजन के लिए अधिवक्ता संघ की बैठक हुई। जिला न्यायाधीश बृजेन्द्र कुमार शास्त्री के मार्गदर्शन में जिला अधिवक्ता संघ अध्यक्ष प्रणीश चौबे एवं साथी अधिवक्ताओं के साथ जिला न्यायालय के वरिष्ठ न्यायाधीश प्रथम अपर सत्र न्यायाधीश पंकज सिन्हा, मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट उमेश उपाध्याय एवं सचिव व्यवहार न्यायाधीश वर्ग-1 जसविंदर कौर अजमानी मलिक ने बैठक ली।
अध्यक्ष व जिला न्यायाधीश शास्त्री ने चर्चा में वकीलों से सतत रूप से प्रकरणों का पर्यवेक्षण कर अधिक से अधिक राजीनामा प्रकरणों का निराकरण करने के लिए सहयोग करने कहा। अध्यक्ष ने कहा कि लोक अदालत में प्री-लिटिगेशन प्रकरण में बीएसएनएल, विद्युत विभाग, नगर निगम, बीमा कंपनी व बैंक से प्राप्त लोन के प्ररकण का निराकरण किया जाता है। चेक बाउंस के प्रकरण, भरण पोषण एवं अन्य राजीनामा योग्य दांडिक प्रकरणों का निराकरण किया जाता है।
राजस्व प्रकरणों के निराकरण पर हुई चर्चा
पूर्व लोक अदालत की भांति इस बार भी राजस्व प्रकरणों का निराकरण किये जाने के संबंध में चर्चा की गई। तहसील न्यायालय में पैरवी करने वाले वकीलों से खातेदारों के मध्य आपसी बंटवारे के मामले वारिसों के मध्य बंटवारे विकय पत्र, दान पत्र, वसियत नामा आदि के आधार पर नामांतरण के मामले आदि का निराकरण लोक अदालत में करने कहा। प्रथम अपर सत्र न्यायाधीश पंकज सिन्हा ने कहा कि लोक अदालत में किसी पक्षकार की ना हार होती है ना जीत होती है। सौहाद्रपूर्ण तरीके से पक्षकारों के मध्य आपसी राजीनामा कर प्रकरण का निराकरण किया जाना चाहिए, जिसमें अधिवक्ताओं का महत्वपूर्ण योगदान होता है।


