बलौदा बाजार
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बलौदाबाजार, 31 अक्टूबर। राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण, नई दिल्ली के निर्देशानुसार एवं राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, बिलासपुर के मार्गदर्शन एवं प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश अब्दुल जाहिद कुरैशी के निर्देशन में, न्यायिक मजिस्ट्रेट द्वितीय श्रेणी माला यादव एवं पूजा चंद्रा द्वारा ग्राम- करमदा स्थित शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया। इस अवसर पर मुख्य वक्ताओं ने छात्र-छात्राओं को विभिन्न समाजव्यापी विधिक विषयों पर विस्तृत जानकारी प्रदान की।
शिविर में बताया गया कि बाल श्रम जिसमें बच्चों से ऐसा कार्य कराना जो उनकी आयु के विरूद्ध हो एवं शारीरिक, मानसिक व उनके नैतिक विकास के लिए हानिकारक हो और जिससे उनकी शिक्षा में बाधा उत्पन्न हो, वह अपराध है। टोनही प्रताडऩा जिसमें किसी महिला को जादू-टोना के आरोप में सामाजिक रूप से अपमानित, प्रताडि़त व हिंसा का शिकार बनाना, यह कुप्रथा भारत के कई ग्रामीण एवं पिछड़े क्षेत्रों में देखने को मिलती है, वह अपराध है। मोटर वाहन अधिनियम जिसमें 18 वर्ष से कम उम्र तथा बिना लाईसेंस, हेलमेट, बीमा, के बिना वाहन चलाना अपराध है। नागरिकों के मौलिक अधिकार एवं मौलिक कर्त्तव्यों के संबंध में विद्यार्थियों को जागरूक किया गया। मुख्य वक्ताओं ने बताया कि विधिक जानकारी प्रत्येक नागरिक के लिए आवश्यक है, ताकि वे अपने अधिकारों एवं कर्त्तव्यों के प्रति सजग रह सकें। उक्त सभी जानकारी देकर छात्र-छात्राओं को आस-पास के ग्रामीणों को जागरूक करने हेतु प्रेरित किया गया।
इस कार्यक्रम में विद्यालय के लगभग 250 छात्र-छात्राएं सहभागी हुए और विधिक जानकारी से लाभान्वित हुए। शिविर में पैरा लीगल वालेंटियर ओजस्व अग्रवाल एवं लाखन बंजारे भी उपस्थित रहे, जिन्होंने कार्यक्रम की सफलता में सहयोग प्रदान किया।


