राजपथ - जनपथ

अब निकल सकती है नई वैकेंसी
चुनाव आचार संहिता हटने के बाद सरकार एक्शन में आ गई है। समीक्षा बैठकें शुरू हो गई हैं, जनदर्शन भी लगने लगा है। अलग-अलग कारणों से दो कलेक्टर और एक एसपी को हटाया जा चुका है। यानि सरकार फुल फॉर्म में काम कर रही है।
सरकार ने लोकसभा चुनाव से पहले किसानों और महिलाओं को किए गए कई वादे पूरे किए गए। अपने छह माह के कार्यकाल में युवाओं को उद्योग लगाने पर 50 प्रतिशत सब्सिडी की घोषणा की। नौकरियों में स्थानीय युवाओं को उम्र में 5 साल की छूट देने का ऐलान भी हो चुका है। पर भर्तियों का विज्ञापन अब तक नहीं निकला। चुनाव के पहले करीब 10 हजार शिक्षकों की भर्ती की तैयारी कर ली गई थी। लोक सेवा आयोग के जरिये 595 प्रोफेसरों की भर्ती की प्रक्रिया तो तीन साल से चल रही थी, जो अलग-अलग कारणों से चुनाव आचार संहिता लागू होने तक पूरी नहीं हो पाई। आदिवासी विकास विभाग में छात्रावास अधीक्षक के 500 रिक्त पदों पर भर्ती के लिए व्यापमं विज्ञापन निकाला था, जो बाद में निरस्त कर दिया गया था। आचार संहिता के कारण अगला विज्ञापन नहीं निकला। कई दूसरे विभागों में भर्तियां रुकी हुई हैं, जिनमें चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी से लेकर द्वितीय श्रेणी राजपत्रित अधिकारी तक के पद हैं। ऐसे पदों की संख्या 25 हजार के आसपास बताई जा रही है। बहुत संभव है कि आने वाले दिनों में नौकरियों के विज्ञापन निकलने लगेंगे।
भव्य भवन सुरक्षित कितने?
बलौदाबाजार में 10 जून को जब हिंसक भीड़ ने धावा बोला। वायरल वीडियो से पता चलता है कि आग बहुत तेजी से भडक़ी और देखते ही देखते संयुक्त जिला कार्यालय नीचे से ऊपर तक धूं-धूं कर जलने लगा। इस समय पूरे छत्तीसगढ़ में भीषण गर्मी है, जो आग तेजी से फैलने का एक कारण बना, लेकिन जानकारों का कहना है कि इसकी दूसरी वजह भवन की दीवारों पर लगाए गए एसीपी की परत है। एसीपी यानि एल्युनिमियम कंपोजिट पैनल किसी भी इमारत की खूबसूरती कई गुना बढ़ा देते हैं। पहले व्यावसायिक परिसरों में इसका चलन अधिक था लेकिन सरकारी भवनों में भी इसका इस्तेमाल होने लगा है। विभिन्न जिलों के कार्यालय, यहां तक कि मंत्रालय और सचिवालय के भवनों में भी बाहरी दीवारों पर इसकी साज-सज्जा दिखाई देती है। भवन निर्माण से जुड़े कुछ इंजीनियरों का कहना है कि भवनों की संरचना के मुताबिक एसीपी लगाने और उसकी क्वालिटी को मेंटेन करने के कुछ नियम हैं, जिनका पालन नहीं करने पर आगजनी के दौरान जोखिम बढ़ जाता है। जिन भवनों में एसीपी लगा होता है उसकी दीवारें गर्मी के दिनों में और अधिक गर्म होती हैं। आग के संपर्क में आने के बाद पैनल तेजी से पिघलने लगता है। इस वजह से ऐसा भी हो सकता है कि आग ऊपर की मंजिल में लगी हो और नीचे फैलने लगे। बलौदा बाजार में आग तेजी से फैलने की क्या यह भी वजह थी, शायद आगे जांच से साफ हो। (rajpathjanpath@gmail.com)