राजनांदगांव

आईजी ने सामुदायिक पुलिसिंग में नक्सल आत्मसर्पण नीति की दी जानकारी
22-Mar-2025 3:03 PM
आईजी ने सामुदायिक पुलिसिंग में नक्सल आत्मसर्पण नीति की दी जानकारी

घोर नक्सल प्रभावित इलाकों के ग्रामीणों को बर्तन सेट वितरित

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 22 मार्च।
आईजी, वन मंडलाधिकारी और आईटीबीपी ने मोहला-मानपुर-अं. चौकी जिले के घोर नक्सल प्रभावित गांवों में पहुंचकर सामुदायिक पुलिसिंग कार्यक्रम कर ग्रामीणों को बर्तन व स्कूली बच्चों को खेल सामग्री, स्कूल बैग व साइकिल वितरित किया। इसके अलावा ग्रामीणों को कृषि व मजदूरी के लिए गैती, तसला, फावड़ा व छाता भी वितरित किए। 

मिली जानकारी के अनुसार मोहला-मानपुर-अं. चौकी जिला पुलिस और आईटीबीपी द्वारा 20 मार्च को औंधी थानांतर्गत ग्राम निडेली, शारदा, शारदा मिडिल स्कूल व थाना सीतागांव क्षेत्र अंतर्गत ग्राम मिचगांव के आश्रित गांव के घोर नक्सल प्रभावित क्षेत्र में  सामुदायिक  पुलिसिंग कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में राजनांदगांव रेंज पुलिस महानिरीक्षक दीपक झ, एसपी वायपी सिंह, आईटीबीपी 44वीं वाहिनी सेनानी मुकेश धसमाना व 27वीं वाहिनी सेनानी विवेक पाडेय, डीएफओ दिनेश पटेल, एएसपी पिताम्बर पटेल, उप पुलिस अधीक्षक मानपुर प्रशांत कुमार पैकरा ने नक्सल प्रभावित ग्रामीण क्षेत्र के लोगों को सामाजिक   पुलिसिंग कार्यक्रम के तहत बर्तन का सेट, गैती, फावड़ा, तसला, छाता तथा  शारदा मिडिल स्कूल के बच्चों को खेल सामग्री, स्कूल बैग व साइकिल वितरित किया गया। इस मौके पर आईजी दीपक झा ने गांव के लोगों को सरकार द्वारा चलाए जा रहे नक्सल आत्मसर्पण नीति के बारे में जानकारी दी। आत्मसर्पण आईटीबीपी कैम्प, थाना, पुलिस अधीक्षक कार्यालय, कलेक्टर कार्यालय या राजनांदगांव स्थित आईजी कार्यालय में किसी भी जगह किया जा सकता है। 

एसपी ने कहा कि आपके गांव में आपको किसी भी तरीके की समस्या हो तो कैम्प में अधिकारियों से बेहिचक संपर्क कर सकते हैं।  सभी ने पुलिस के इस प्रयास की तारीफ  की। कार्यक्रम में पुलिस विभाग से रक्षित निरीक्षक भुनेश्वर कश्यप उपस्थित रहे।

बच्चों को खेल सामग्री व साइकिल
सामुदायिक पुलिसिंग के अंतर्गत 20 मार्च को शासकीय मिडिल स्कूल शारदा के बच्चों के बीच पहुंचकर उन्हें  खेल सामग्री, स्कूल बैग व साइकिल  वितरित की।  इस मौके पर  आईजी झा ने कहा कि पढ़ाई के साथ-साथ हमें खेल पर भी ध्यान देना चाहिए, क्योंकि खेल से हमारा समग्र विकास होता है। सभी स्कूल में बच्चों के साथ-साथ उनके शिक्षक भी उपस्थित रहे।
 


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