राजनांदगांव

संगठन से डोंगरगढ़ छोडक़र दूसरे क्षेत्र में प्रचार का जिम्मा देने का आग्रह
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 16 अक्टूबर। डोंगरगढ़ विधानसभा से टिकट मिलने से वंचित हुए निवर्तमान विधायक भुनेश्वर बघेल के तेवर अब ढीला पड़ता जा रहा है। नवरात्र के पहले दिन कांग्रेस पार्टी की जारी प्रत्याशियों की सूची में बघेल का नाम नहीं होने से उनके समर्थक का गुस्सा उबाल मारने लगा। ताबड़तोड़ उनके समर्थकों ने संगठन के पदों से इस्तीफा देने का सिलसिला शुरू किया। पहले दिन भुनेश्वर बघेल के तेवर भी पार्टी के खिलाफ सख्त रहा।
उन्होंने यहां तक कहा था कि दूसरे पार्टी से उन्हें चुनाव लडऩे ऑफर आ रहे हैं। यहां यह बता दें कि 2018 के विधानसभा के चुनाव में भुनेश्वर ने इतिहास दर्ज करते 35 हजार मतों से जीत हासिल की थी। पार्टी हल्के में उनके खिलाफ एंटी इन्कैबेंसी का माहौल होने के कारण टिकट नहीं दिए जाने की चर्चा है। इधर सोमवार को बघेल के तेवर नरम पड़ गए।
उन्होंने ‘छत्तीसगढ़’ से कहा कि किसी भी सूरत में पार्टी नहीं छोड़ेंगे। उन्होंने बताया कि पार्टी नेतृत्व से डोंगरगढ़ छोडक़र अन्य क्षेत्र में प्रचार अथवा दूसरी जिम्मेदारी देने का आग्रह किया है। स्वभाविक तौर पर पार्टी द्वारा पत्ता साफ करने के कारण वह दुखी हैं, इसलिए पार्टी की अधिकृत प्रत्याशी हर्षिता बघेल के पक्ष में प्रचार करने का इरादा नहीं रख रहे हैं।