मनेन्द्रगढ़-चिरिमिरी-भरतपुर

महिला कबड्डी प्रीमियर लीग में बेलकामार टीम बनी विजेता
02-May-2025 3:40 PM
महिला कबड्डी प्रीमियर लीग में बेलकामार टीम बनी विजेता

सुमन बेस्ट ऑलराउंडर, पिंकी बेस्ट रेडर और प्रीति को मिला बेस्ट डिफेंडर का पुरस्कार

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
मनेन्द्रगढ़, 2 मई।
मनेंद्रगढ़ में अस्मिता सिटी इलेक्ट्रिक महिला कबड्डी प्रीमियर लीग (एसीआई एमपीएल) 2025 प्रतियोगिता का आयोजन सफलतापूर्वक संपन्न हुआ। आयोजन का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्र की महिला खिलाडिय़ों को खेल के क्षेत्र में मंच प्रदान करना और उनके आत्मविश्वास को बढ़ाना रहा।

प्रतियोगिता के मुख्य अतिथि जिला पंचायत सदस्य राम जीत लकड़ा एवं विशिष्ट अतिथि सुरेंद्र मरकाम जनपद सदस्य बुंदेली, सीता देवी जनपद सदस्य पाराडोल, हेमा रघुनाथ सरपंच बुंदेली, फूलमती सरपंच पाराडोल तथा देव कुमार सरपंच बंजी रहे। अस्मिता सिटी प्रीमियर लीग प्रतियोगिता में कुल 4 टीमों ने भाग लिया। सभी टीमों के बीच हुए संघर्षपूर्ण मुकाबलों के बाद फाइनल में लघु केंद्र बंजी और बेलकामार की टीमों ने प्रवेश किया। फाइनल मुकाबला अत्यंत रोमांचक रहा जिसमें दोनों टीमों ने शानदार खेल कौशल का प्रदर्शन किया। 

अंतत: बेलकामार की टीम ने बेहतरीन रणनीति और दमदार प्रदर्शन के दम पर लघु केंद्र बंजी को पराजित करते हुए विजेता का खिताब अपने नाम किया। फाइनल में बेलकामार 43 और बंजी का स्कोर 28 रहा। प्रतियोगिता में व्यक्तिगत प्रदर्शन के आधार पर खिलाडिय़ों को विशेष सम्मान प्रदान किया गया। बेलकामार की कुमारी सुमन को उनके सर्वांगीण प्रदर्शन के लिए बेस्ट ऑलराउंडर का खिताब प्रदान किया गया। वहीं उनकी ही टीम की पिंकी को बेस्ट रेडर और लघु केंद्र बंजी की प्रीति को बेस्ट डिफेंडर का पुरस्कार मिला। 

 

आयोजन को सफल बनाने में बंजी आश्रम की अधीक्षिका, प्राचार्य आनंद, इंद्रजीत, रूपसिंह, निर्णायक राहुल, शिव चौधरी, यशवंत, व्यायाम शिक्षक केमेंद्र साहू, शिक्षक गौरव एवं ग्रामवासियों की महत्वपूर्ण भूमिका रही। सभी ने अपनी जिम्मेदारी का निर्वहन करते हुए प्रतियोगिता को उत्कृष्ट स्तर तक पहुंचाया। 

कार्यक्रम के समापन अवसर पर मुख्य अतिथि राम जीत लकड़ा ने खिलाडिय़ों की सराहना करते हुए कहा कि खेलों से न केवल शारीरिक विकास होता है, बल्कि मानसिक मजबूती और आत्मविश्वास भी बढ़ता है। उन्होंने खिलाडिय़ों को हर संभव सहायता देने का आश्वासन दिया। यह आयोजन केवल एक खेल प्रतियोगिता नहीं, बल्कि ग्रामीण क्षेत्र की महिलाओं के सशक्तिकरण, उनकी प्रतिभा को मंच देने और सामाजिक समावेशन का प्रतीक भी बनी।


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