अंतरराष्ट्रीय

पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान ख़ान ने अपनी कैबिनेट में चौंकाने वाला फेरबदल किया है. शुक्रवार को तीन मंत्रियों के मंत्रालय बदले गए और एक सलाहकार नियुक्त किया गया है.
पाकिस्तान के बड़बोले रेल मंत्री शेख रशीद को इमरान ख़ान ने रेल मंत्री से गृह मंत्री बना दिया है.
इससे पहले इजाज़ अहमद शाह इस पद की ज़िम्मेदारी संभाल रहे थे.
शेख रशीद भारत के ख़िलाफ़ बेहद आक्रामक रहे हैं. इसी साल सितंबर महीने की शुरुआत में रशीद ने भारत को परमाणु बम की धमकी दी थी.
रेल मंत्री रहते हुए शेख रशीद ने भारत को चेतावनी देते हुए कहा था कि पाकिस्तान के पास 125 से 250 ग्राम तक छोटे-छोटे परमाणु बम हैं. इन बमों से पाकिस्तान आसानी से भारत को निशाने पर ले सकता है.
तब भारत ने जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा ख़त्म किया था और पाकिस्तान से तीखी प्रतिक्रिया आ रही थी.
उसी दौरान भारत पर हमला बोलते हुए रशीद ने कहा था, ''श्रीनगर के लाल चौक से पाकिस्तान का ख़ून का रिश्ता है. अब पाकिस्तान कश्मीर पर कुछ भी कर सकता है क्योंकि मामला 1947 में चला गया है.''
''अगर भारत लाहौर की तरफ़ बढ़ा तो हमने स्मार्ट बम रखे हैं जो उन टैंकों और भारतीय फ़ौज को उड़ाएंगे जो हमारी तरफ़ बढ़ेंगे. हमारे पास हर साइज़ का मसाला है. हमारे पास छोटी गोली भी है चूरन की और बड़ी गोली भी है. आप आएं तो सही.''
अभी पाकिस्तान में विपक्षी पार्टियों का पाकिस्तान डेमोक्रेटिक मूवमेंट (पीडीएम) चल रहा है और इमरान ख़ान की सरकार के लिए चुनौती है कि वो इसे रोकें. ऐसे में शेख रशीद को विदेश मंत्री बनाया जाना मायने रखता है.
जब इमरान ख़ान ने कहा था जिहादी
शेख रशीद को गृह मंत्री बनाए जाने पर पाकिस्तान में सोशल मीडिया पर ख़ूब बहस चल रही है. इमरान ख़ान के पुराने वीडियो शेयर किए जा रहे हैं, जिनमें वो शेख रशीद को जिहादी कहते दिख रहे हैं. ऐसा ही एक वीडियो पाकिस्तान के सीनियर पत्रकार बिलाल फ़ारूक़ी ने ट्विटर पर पोस्ट किया है.
इस वीडियो में इमरान ख़ान कह रहे हैं, ''जब अमेरिका को जिहाद की ज़रूरत पड़ी तो वो जिहादी बन गया था. उसने जिहादी कैंप खोला हुआ था. उसमें वो ट्रेनिंग देता था. अब वो रौशनख़्याल बन गया है. मुँह में सिगार लगा लेता है. अंग्रेज़ी भी बोलने की कोशिश करता है लेकिन क़त्लेआम कर देता है. अमेरिका को चीन के ख़िलाफ़ फिर से जिहादी की ज़रूरत पड़ी तो वो बन जाएगा. ये सिर्फ़ अमेरिका की ग़ुलामी है.''
सोशल मीडिया पर एक वीडियो ये भी चल रहा है जिसमें इमरान ख़ान एक भाषण के दौरान बोल रहे हैं कि वो शेख रशीद को अपना चपरासी भी ना रखें.
पाकिस्तानी अख़बार डॉन ने सूत्रों के हवाले से बताया है कि गृह मंत्री के पद के लिए कई दावेदार थे जिसमें विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्री फ़वाद चौधरी भी शामिल हैं.
इससे लगता है कि शेख रशीद के गृह मंत्री बनने की इच्छा आख़िरकार पूरी हो गई है क्योंकि 2018 में इमरान सरकार बनने के दौरान भी उन्होंने इस पद के लिए प्रयास किया था. लेकिन, उस दौरान पीएम इमरान ख़ान ने शहरयार अफ़रीदी को ये ज़िम्मेदारी सौंपी.
अख़बार ने पीटीआई के एक सूत्र के हवाले से लिखा है कि इस बात का पहले से अनुमान था कि इजाज़ शाह से ये पद ले लिया जाएगा क्योंकि वो अपने परिवारिक मसलों के कारण पूरी तरह ध्यान नहीं दे पा रहे थे.
विपक्ष को चेतावनी
पाकिस्तानी मीडिया के अनुसार शेख रशीद की नियुक्ति के तुरंत बाद उन्होंने पीएम इमरान ख़ान को फ़ोन किया और फिर एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए संकेत दिया कि वो पाकिस्तान डेमोक्रेटिक मूवमेंट के लिए हालात मुश्किल कर सकते हैं.
रशीद ने कहा, ''इमरान ख़ान ने मीनार-ए-पाकिस्तान में सार्वजनिक बैठक के बाद बढ़त हासिल की है लेकिन विपक्ष अपनी लाहौर रैली के बाद डूबेगा.''
गृह मंत्री के तौर पर शेख रशीद के पास पाकिस्तान के आंतरिक मामलों की ज़िम्मेदारी होगी. साथ ही कुछ राष्ट्रीय संस्थान जैसे पाकिस्तान रेंजर्स, फेडरल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी, इंटेलिजेंस ब्यूरो और पाकिस्तान कोस्ट गार्ड्स भी गृह मंत्रालय के दायरे में आएंगे.
शेख रशीद ने कहा है कि वो पीडीएम की रैली को राजधानी इस्लामाबाद में आने से नहीं रोकेंगे. उन्होंने कहा, ''अगर विपक्ष इस्लामाबाद में मार्च निकालता है तो उनका स्वागत किया जाएगा. मैं मौलाना फज़लुर रहमान (पीडीएम प्रमुख) को कश्मीरी चाय पिलाऊंगा.''
उन्होंने कहा कि विपक्षी नेता दूसरों के बच्चों को इस ठंड में सड़कों पर निकलने के लिए उकसा रहे हैं जबकि उनके ख़ुद के बच्चे विदेशों का आनंद ले रहे हैं.
वहीं, पाकिस्तान पीपल्स पार्टी के अध्यक्ष बिलावल भुट्टो ने पाकिस्तान मुस्लिम लीग-एन की उपाध्यक्ष मरियम नवाज़ के साथ लाहौर में एक संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रे़ंस में कहा कि पीडीएम का लॉन्ग मार्च राजधानी में अब तक का सबसे बड़ा प्रदर्शन होगा.
हालांकि, पीडीएम ने अभी तक मार्च के लिए किसी तारीख की घोषणा नहीं है.
वहीं, शेख रशीद ने कहा है, ''दिसंबर में 14,15 और 16 तारीख़ इमरान ख़ान के लिए अच्छी ख़बर लेकर आएंगी.''
उन्होंने विपक्ष को लेकर कहा कि विपक्ष का अभियान देश की अर्थव्यवस्था को नुक़सान पहुंचा सकता है और वो ऐसे किसी भी क़दम को नाकाम कर देंगे.
उन्होंने दावा किया कि एक गृह मंत्री के तौर पर वह हमेशा इस्लामिक ताकतों के साथ खड़े रहेंगे. उन्होंने कहा, ''हमारे मदरसे इस्लाम के स्तंभ हैं.'' (bbc.com)