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बस्तर कलाकृति और भित्तीचित्र कार्यशाला
12-Dec-2021 12:16 PM
बस्तर कलाकृति और भित्तीचित्र कार्यशाला

रायपुर, 12 दिसंबर। भारतीय सांस्कृतिक निधि (इन्टैक), रायपुर अध्याय द्वारा दो दिवसीय लोक/पारंपरिक/विशिष्ट शिल्प/कला पर केन्द्रित कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस कला के अंतर्गत जगदलपुर में विद्यमान बस्तर कलाकृति एवं भित्तीचित्र पर अरूण हलधर ने शालेय विद्यार्थियों को प्रशिक्षण दिया।

कार्यशाला के उद्घाटन सत्र में मुख्य अतिथि के रूप में वरिष्ठ साहित्यकार एवं संस्कृतिकर्मी रमेश अनुपम उपस्थित थे। उन्होंने कहा कि आज हम जिस बस्तर की बात कर रहे हैं उसका सांस्कृतिक वैभव काफी सुंदर है। यहां बहुत ही सुंदर केशकाल घाटी है। ऐसी कलाएं हैं जो दुनिया में सराही जाती हैं। बस्तर के जयदेव बघेल बहुत बड़े कलाकार व चित्रकार थे तथा देश-विदेश में घूम कर उन्होंने अपनी कला का प्रदर्शन किया। प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी भी जयदेव बघेल की प्रशंसक थीं।

बस्तर का घड़ुवा, ढोकरा आर्ट तथा जगदलपुर के कुम्हार पारा का काष्ठ कला प्रसिद्ध है। आज हमारी यह समृद्धि लुप्त होती जा रही है जिसे सुरक्षित रखना सभी के लिये हितकारी है। इस अवसर पर उन्होंने विद्यार्थियों को संबोंधित करते हुये कहा कि सबके भीतर एक प्यारा सा चित्रकार मौजूद है तथा इन्हीं ने दुनिया को बचा के रखा है उन्होंने सभी प्रतिभागियों को शुभकामनाएं दी तथा विश्वास किया कि इस दो दिवसीय कार्यशाला से उन्हें उपयुक्र्त जानकारी प्राप्त होगी।


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