मुंबई, 23 मार्च । भारतीय शेयर बाजार में उतार-चढ़ाव के बीच छोटी और लंबी अवधि के निवेशकों के लिए पर्याप्त अवसर मौजूद हैं। यह जानकारी एक रिपोर्ट में दी गई। मोतीलाल ओसवाल प्राइवेट वेल्थ (एमओपीडब्ल्यू) की ओर से जारी रिपोर्ट में इक्विटी को लेकर शॉर्ट टर्म और लॉन्ग में आशावादी रुख अपनाया गया। ब्रोकरेज फर्म ने कहा कि निवेशकों को लंपसम के माध्यम से लार्ज-कैप और हाइब्रिड फंडों में निवेश जारी रखना चाहिए, जबकि अगले छह महीनों में चरणबद्ध तरीके से मिड-कैप और स्मॉल-कैप शेयरों में निवेश करना चाहिए। यह रिपोर्ट ऐसे समय में आई है जब हाल के समय में हुई गिरावट में लार्ज-कैप का मूल्यांकन 10-वर्ष के औसत से नीचे आ गया है। मोतीलाल ओसवाल वेल्थ लिमिटेड के प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी आशीष शंकर ने कहा, "हाल की गिरावट के कारण लार्ज-कैप का मूल्यांकन एक वर्ष के फॉरवर्ड आधार पर 10 वर्ष के औसत से नीचे आ गया है।"
उन्होंने कहा कि हालांकि, मिडकैप और स्मॉलकैप इंडेक्स अभी भी प्रीमियम पर कारोबार कर रहे हैं, लेकिन वहां भी अवसर उभर रहे हैं। रिपोर्ट में बताया गया है कि उपभोग को बढ़ावा देने के लिए हाल ही में सरकार द्वारा उठाए गए कदमों से आर्थिक विकास को समर्थन मिलने की उम्मीद है। रिपोर्ट में कहा गया है, "भारतीय शेयर बाजार फिलहाल कंसोलिडेशन के दौर में है। वैश्विक आर्थिक अनिश्चितताओं, अमेरिकी टैरिफ और मजबूत डॉलर ने बाजार में अस्थिरता को बढ़ावा दिया है। इन चुनौतियों के बावजूद, उपभोग बढ़ाने के उद्देश्य से किए गए सरकारी उपायों से भारत की अर्थव्यवस्था को मजबूती मिल सकती है।" ब्रोकरेज हाउस का मानना है कि वर्ष की पहली छमाही में आर्थिक चुनौतियों पर अधिक स्पष्टता सामने आएगी। रिपोर्ट में कहा गया कि हाल की गिरावट में अगर किसी निवेशकों को लगता है कि उसका इक्विटी में आवंटन कम है, तो वह हाइब्रिड और लार्ज कैप फंडों के लिए लंपसम निवेश रणनीति को लागू करके आवंटन बढ़ा सकते हैं और फ्लेक्सी, मिड और स्मॉल कैप में अगले 6 महीनों में चरणबद्ध तरीके से निवेशक कर सकते हैं। -(आईएएनएस)