राजनांदगांव

आपातकाल की त्रासदी पर संगोष्ठी सभा में कांग्रेस पर गरजे भाजपा नेता
26-Jun-2025 4:09 PM
आपातकाल की त्रासदी पर संगोष्ठी  सभा में कांग्रेस पर गरजे भाजपा नेता

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 26 जून।
आपातकाल की 50वीं बरसी पर बुधवार को भाजपा कार्यालय में आपातकाल की त्रासदी पर संगोष्ठी का आयोजन किया गया। इस दौरान मीसाबंदी परिवार के रूप में बसंत लता निर्वाणी, कुलवंत कक्कड़, अमित छाबड़ा, छाया गुप्ता, मुरलीधर चौधरी और राधव तिवारी का सम्मान भी किया गया।

महापौर मधुसूदन यादव ने कहा कि  इंदिरा गांधी ने धारा 352 की धारा का दुरुपयोग कर 12 जून 1975 को आपातकाल लगा दिया था, जिसे भाजपा आज  संविधान हत्या दिवस के रूप में मना रही है। उन्होंने कहा कि इंदिरा गांधी का यह फैसला ना तो देशहित में में था और ना किसी आपदा की मांग थी। यह एक डरी हुई प्रधानमंत्री द्वारा लोकतंत्र की नींव को हिलाने का षड्यंत्र था।  संविधान की आत्मा को रौंदा गया और न्यायपालिका की स्वतंत्रता छीनी गई। आपातकाल के खिलाफ देशभर में आंदोलन शुरू हुई। जिसका नेतृत्व राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और अन्य संगठन ने किया।

श्री यादव ने कहा कि जो लोग आज संविधान बचाओ का नारा दे रहे हैं, वही इतिहास में संविधान को सबसे ज्यादा बार कुचल चुके हैं। उन्होंने कहा कि कांग्रेस हमेशा भाजपा पर आरोप लगाती है कि संविधान को बदल दिया जाएगा, एसटी-एससी का आरक्षण खत्म कर दिया जाएग, लेकिन आपातकाल के माध्यम से कांग्रेस ने उस दौर में कई बार संविधान के साथ खिलवाड़ किया है ।
 

वरिष्ठ भाजपा नेता खूबचंद पारख ने कहा कि कांग्रेस ने आपातकाल के दौरान लोकतांत्रिक संस्थाओं को रोकने के अलावा प्रेस की स्वतंत्रता, न्यायपालिका की निष्पक्षता और नागरिकों के मौलिक अधिकारों को कुचलकर यह स्पष्ट कर दिया कि जब-जब उसकी सत्ता संकट में होती है, वे संविधान और देश की आत्मा को ताक पर रखने से पीछे नहीं हटते हैं। श्री पारख ने कहा कि 25 जून 1975 की आधी रात को तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने आंतरिक अशांति का बहाना बनाकर भारत पर आपातकाल थोप दिया, यह निर्णय किसी युद्ध या विद्रोह के कारण नहीं, बल्कि अपने चुनाव को रद्द किए जाने और सत्ता बचाने की हताशा में दिया गया निर्णय था। कार्यक्रम का संचालन झुगी झोपड़ी प्रकोष्ठ के संयोजक मनोज निर्वाणी एवं आभार प्रदर्शन कार्यक्रम के संयोजक अतुल रायजादा ने किया।
इस दौरान  जिला भाजपा अध्यक्ष कोमल सिंह राजपूत, सचिन बघेल, राजेंद्र गोलछा, रविंद्र वैष्णव, सौरभ कोठारी, पूर्णिमा साहू, सावन वर्मा, चंद्रिका डडसेना, तरुण लहरवानी, गोलू गुप्ता, सुमित भाटिया, मुरलीधर चौधरी सहित अन्य नेता उपस्थित थे।


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