राजनांदगांव

लंदन की कंपनी बताकर ऐप से लाखों की धोखाधड़ी
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 29 सितंबर। डोंगरगांव इलाके में सैकड़ों युवाओं से लाखों रुपए की धोखाधड़ी का मामला सामने आया है। शिक्षित बेरोजगारों ने केंद्र सरकार की गरीबी उन्मूलन योजना में तीगुना मुनाफा होने के झांसे में आकर निवेश कर दिया। बाद में कंपनी के फर्जी होने की जानकारी सामने आई। अब पीडि़त युवाओं ने पुलिस से मामले की शिकायत की है।
पुलिस के मुताबिक केंद्र की मोदी सरकार की गरीबी उन्मूलन स्कीम से जुड़ेे एक एजेंट ने डोंगरगांव क्षेत्र के अलग-अलग गांव में लंदन की एंटोफोगास्टा नामक कंपनी का ऐप शिक्षित बेरोजगारों से मोबाइल में डाउनलोड कराया। प्रवीण बाम्बेकर नामक एजेंट ने ऐप डाउनलोड करने के बाद युवाओं का एक वाट्सअप ग्रुप बनाया। इस ग्रुप में वह लगातार कंपनी में निवेश करने पर 2 से 4 गुना तक मुनाफा होने की जानकारी साझा की। अलग-अलग क्षेत्रों में कंपनी से जुड़े लोगों के निवेश के बाद जीवन में आए बदलाव को लेकर भी उसने युवाओं को रिझाने की चाल चली। कई युवा उसके जाल में फंस गए।
बताया गया कि तकरीबन 400 से ज्यादा और अन्य लोगों ने लाखों रुपए कंपनी में निवेश किए। एजेंट का दावा था कि 2 लाख के इन्वेस्टमेंट पर 25 लाख रुपए कन्फर्म मुनाफे के तौर पर वापस मिलने का झांसा दिया।
कंपनी पर विश्वास कर कई लोगों ने कर्ज लेकर निवेश किया, लेकिन पिछले सप्ताहभर से अचानक ऐप बंद हो गया। जिससे हड़बड़ाए लोगों को अब तक यह समझ में नहीं आ रहा है कि कंपनी का अचानक ऐप क्यों बंद कर दिया गया?
बताया जा रहा है कि ऑनलाइन रकम निवेश करने वाले लोगों ने कंपनी की सच्चाई का पता लगाने के लिए गूगल में भी सर्च किया। एंटोफोगास्टा लंदन की एक मल्टीनेशनल कंपनी है, जो माईनिंग, रेल और अन्य अधोसंरचना के बड़े प्रोजेक्टों पर काम करती है। एजेंट द्वारा भी युवाओं को ऐसे ही जानकारी देकर बरगलाया गया। बताया जा रहा है कि कंपनी का जिले में बड़ा नेटवर्क फैल गया है। ऐसे में कई लोगों के ठगी के शिकार होने की आशंका है।
डोंगरगांव थाना प्रभारी उपेन्द्र शाह ने ‘छत्तीसगढ़’ को बताया कि शिकायत सामने आई है। पुलिस जांच कर रही है। ऑनलाइन ठगी का यह पूरा खेल 4 महीनों से डोंगरगांव के अलग-अलग इलाकों में चल रहा है। एजेंट भी अपना मोबाइल बंद कर भूमिगत हो गया है।
लोगों को फांसने के लिए शुरूआत में कंपनी द्वारा 40 दिन के भीतर निवेश की रकम मुनाफे के साथ वापस की। जिससे लोगों में कंपनी के प्रति विश्वास पैदा हुआ। मौका देखकर कंपनी लाखों रुपए लेकर नदारद हो गई।