रायपुर

संवेदीकरण कार्यक्रम अंतर्गत ‘सायबर सुरक्षा एवं कानून’विषय पर व्याख्यान
06-Nov-2025 9:28 PM
संवेदीकरण कार्यक्रम अंतर्गत ‘सायबर सुरक्षा एवं कानून’विषय पर व्याख्यान

रायपुर, 6 नवंबर। बीसीएस शास. स्नातकोत्तर महाविद्यालय, धमतरी के प्राचार्य डाॅ. विनोद कुमार पाठक के निर्देशन एवं आई.टी. विभाग द्वारा 6 नवंबर को संवेदीकरण कार्यक्रम के अंतर्गत डिजिटल जागरूकता के तहत ‘सायबर सुरक्षा एवं कानून’विषय पर व्याख्यान माला का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम के आयोजन समिति के सचिव रश्मि कुजूर एवं डाॅ. सीमा साहू रही। यह कार्यक्रम महाविद्यालय के नवीन भवन के सेमिनार हॉल में आयोजित की गई।

कार्यक्रम की शुरुवात माँ सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण से हुई, छात्रों द्वारा सरस्वती वंदना किया गया। व्याख्यान में मुख्य वक्ता के रूप में डाॅ. सुरेन्द्र पटेल, सहायक प्राध्यापक, सूचना प्रौद्योगिकी, शासकीय नागार्जुन महाविद्यालय, रायपुर एवं डाॅ. तीरथ प्रसाद साहू, सहायक प्राध्यापक, सूचना प्रौद्योगिकी, एन.आई.टी., रायपुर उपस्थित रहे।

कार्यक्रम में प्रथम वक्ता के रूप में डाॅ. सुरेन्द्र पटेल ने अपने व्याख्यान में साइबर सुरक्षा क्यों जरूरी है?, साइबर अपराध क्या होता है?, साइबर क्रिमिनल कौन है? व साइबर अटैक पर विस्तृत व्याख्यान दिया। वर्तमान समय में हो रहे साइबर अपराध व उससे बचाव हेतु अपने आवश्यक सुझाव व तथ्य साझा की। साइबर अटैक को उदाहरण के माध्यम से विद्यार्थियों को सरल तरीके से समझाया गया। साइबर अटैक के अन्तर्गत ऑनलाइन गेम्स, फिसिंग, डीपफेक्स कैमरा, हैकिंग एवं के.वाय.सी. वेरिफिकेशन स्कीम, डिजिटल अरेस्ट आदि आते है। भारत में लागू आई.टी. एक्ट 2000 से संबंधित कानून की जानकारी दी गई। अपने व्याख्यान के अंत में साइबर अटैक से बचाव व सुरक्षा तथा इसके लिए जारी हेल्पलाइन नम्बर के बारे में जानकारी दी गई।

इस कार्यक्रम मंे द्वितीय वक्ता के रूप में तीरथ प्रसाद साहू ने ‘सायबर अपराध और इसके प्रकार’ विषय पर अपना व्याख्यान दिये। उन्होंने अपने व्याख्यान में कहा कि -भारत में प्रतिवर्ष साइबर अपराध में वृद्धि हो रहा है। सायबर अपराध से संबंधित अवांछित ई-मेल और मैसेज को पहचानना सिखाया। आपके साथ कोई आॅनलाईन फ्राॅड या धोखाधड़ी हुआ है तो आप बिना समय गवाये संबंधित विभाग व नजदीकी पुलिस में सूचित करें। साथ में अपने पासवर्ड में कुछ नम्बर, अल्पा न्यूमेरिक वर्ड, अल्फाबेट्स नम्बर का भी उपयोग करना चाहिए। अंत में वक्ता के द्वारा 10 गोल्डन नियम बताये, जिससे हम साइबर अपराध से बच सकें।

तत्पश्चात् वक्ताओं को डाॅ. हेमवती ठाकुर, प्राध्यापक, इतिहास विभाग द्वारा प्रमाण पत्र व स्मृति चिन्ह प्रदान किया गया। अंत में आई.टी. विभाग के रश्मि कुजूर, विभागाध्यक्ष द्वारा आभार व्यक्त किया गया। कार्यक्रम का संचालन राजेश चौरसिया द्वारा किया गया। कार्यक्रम में गणित एवं आई.टी. विभाग के लगभग 99 छात्र-छात्राएं उपस्थित थे एवं महाविद्यालय के शैक्षक्षिक एवं अशैक्षणिक स्टाफ उपस्थित थे।


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