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‘वोट बैंक’ की राजनीति के कारण पूर्वोत्तर को भारी नुकसान उठाना पड़ा: प्रधानमंत्री मोदी
13-Sep-2025 9:50 PM
‘वोट बैंक’ की राजनीति के कारण पूर्वोत्तर को भारी नुकसान उठाना पड़ा: प्रधानमंत्री मोदी

आइजोल, 13 सितंबर। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को कहा कि पूर्वोत्तर को ‘वोट बैंक’ की राजनीति के कारण पहले भारी नुकसान उठाना पड़ा, लेकिन केंद्र की भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत सरकार के प्रयासों से क्षेत्र अब देश के विकास के इंजन में तब्दील हो रहा है।

साल 2014 में प्रधानमंत्री बनने के बाद दूसरी बार मिजोरम पहुंचे मोदी ने 9,000 करोड़ रुपये की परियोजनाओं की शुरुआत की और आइजोल के पास लेंगपुई हवाई अड्डे से एक जनसभा को वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से संबोधित किया, क्योंकि भारी बारिश के कारण वह शहर के बीचोंबीच स्थित कार्यक्रम स्थल लामुआल मैदान नहीं जा पाए।

मोदी ने आइजोल और दिल्ली के बीच पहली राजधानी एक्सप्रेस को भी हरी झंडी दिखाई। उन्होंने रेल, राजमार्ग, ऊर्जा और खेल अवसंरचना को बढ़ावा देने वाली विभिन्न परियोजनाओं का भी उद्घाटन किया।

प्रधानमंत्री ने कहा, “हमारे देश में कुछ राजनीतिक दल लंबे समय से ‘वोट बैंक’ की राजनीति करते आए हैं। उनका ध्यान हमेशा उन जगहों पर रहा, जहां ज्यादा वोट और सीट थीं। मिजोरम सहित पूरे पूर्वोत्तर को इस रवैये के कारण बहुत नुकसान उठाना पड़ा है।”

उन्होंने कहा, “लेकिन हमारा नजरिया बिल्कुल अलग है। जो पहले उपेक्षित थे, वे अब सबसे आगे हैं। जो पहले हाशिये पर थे, वे अब मुख्यधारा में हैं। हम पिछले 11 वर्षों से पूर्वोत्तर के विकास के लिए काम कर रहे हैं और यह क्षेत्र भारत के विकास का इंजन बन रहा है।”

मोदी ने कहा कि मिजोरम केंद्र सरकार की ‘एक्ट ईस्ट’ नीति में एक प्रमुख भूमिका निभाता है और कलादान मल्टीमॉडल ट्रांजिट परियोजना तथा रेल लाइन राज्य को दक्षिण-पूर्व एशिया से जोड़ेंगी।

प्रधानमंत्री ने 8,070 करोड़ रुपये की लागत वाली बैराबी-सैरंग लाइन की शुरुआत की, जिससे चारों तरफ से भूमि से घिरा मिजोरम देश के रेल नेटवर्क से पूरी तरह से एकीकृत हो गया। उन्होंने कहा कि यह मिजोरम के लिए एक ऐतिहासिक दिन है, क्योंकि 51.38 किलोमीटर लंबी यह रेल लाइन राज्य की राजधानी आइजोल को प्रमुख महानगरों से जोड़ेगी।

मोदी ने कहा कि विभिन्न चुनौतियों और दुर्गम इलाकों को पार करते हुए क्रियान्वित की गई यह परियोजना राज्य के लोगों के जीवन में बड़ा बदलाव लाएगी तथा परिवहन के लिए जीवन रेखा साबित होगी।

प्रधानमंत्री ने आइजोल को दिल्ली, गुवाहाटी और कोलकाता से जोड़ने वाली तीन नयी एक्सप्रेस ट्रेन को भी हरी झंडी दिखाई।

उन्होंने कहा, “यह सिर्फ रेल कनेक्टिविटी नहीं है, बल्कि बदलाव की जीवन रेखा है। मिजोरम के किसान और व्यवसाय देशभर में अधिक बाजारों तक पहुंच स्थापित कर सकेंगे। लोगों को शिक्षा और स्वास्थ्य देखभाल के ज्यादा विकल्प मिलेंगे। इससे पर्यटन, परिवहन और आतिथ्य क्षेत्र में रोजगार के अवसर भी पैदा होंगे।”

मोदी ने कहा, “चाहे आजादी का आंदोलन हो या राष्ट्र निर्माण, मिजोरम के लोग हमेशा योगदान देने के लिए आगे आते रहे हैं। आज यह राज्य भारत की विकास यात्रा में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है।”

उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने पूर्वोत्तर में चौतरफा कनेक्टिविटी सुनिश्चित करने की दिशा में काम किया है-चाहे वह इंटरनेट हो, बिजली हो, बुनियादी ढांचा हो या हवाई कनेक्टिविटी हो।

प्रधानमंत्री ने कहा, “मिजोरम को ‘उड़ान’ योजना का भी लाभ मिलेगा। जल्द ही यहां हेलीकॉप्टर सेवाएं शुरू की जाएंगी। इससे राज्य के दूरदराज के इलाकों तक पहुंच में सुधार होगा।”

उन्होंने कहा कि मिजोरम ने कई दिग्गज खिलाड़ी दिए हैं और राष्ट्रीय खेल नीति राज्य के खिलाड़ियों के लिए अवसरों के द्वार खोलेगी।

मोदी ने कहा, “भारत वैश्विक खेलों के लिए एक महत्वपूर्ण केंद्र बनकर उभर रहा है। इससे देश में खेल अर्थव्यवस्था का भी निर्माण हो रहा है। मिजोरम में खेलों की अद्भुत परंपरा रही है, जिसने फुटबॉल और अन्य खेलों में कई चैंपियन पैदा किए हैं।”

उन्होंने कहा कि पूर्वोत्तर उद्यमशीलता का एक प्रमुख केंद्र बन रहा है, जहां 4,500 स्टार्टअप और 25 ‘इनक्यूबेटर’ संचालित हो रहे हैं।

‘इनक्यूबेटर’ प्रारंभिक चरण या यहां तक कि विचार-चरण वाली कंपनियों को मार्गदर्शन, कार्यालय स्थान, प्रशिक्षण और संभावित वित्तपोषण तक पहुंच जैसे संसाधन मुहैया कराकर आगे बढ़ने में मदद देता है।

मोदी ने कहा कि सरकार का ध्यान शिक्षा के बुनियादी ढांचे को भी बढ़ाने पर है और मिजोरम में पहले से मौजूद 11 एकलव्य स्कूलों के अलावा छह और एकलव्य स्कूलों की स्थापना के जरिये उन्हें सशक्त बनाने का काम शुरू हो गया है।

उन्होंने कहा, “मैं निवेशकों से ‘राइजिंग नॉर्थ ईस्ट’ शिखर सम्मेलन में इस क्षेत्र की क्षमता का दोहन करने का आग्रह करता हूं... ‘लोकल फॉर वोकल’ पहल के तहत, मिजोरम के बांस, जैविक अदरक, हल्दी और केले के विपणन को बढ़ावा देने के प्रयास जारी हैं।”

वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) की नयी दरों के बारे में मोदी ने कहा कि इन सुधारों से कई उत्पादों पर कर कम हुए हैं, जिससे आम लोगों का जीवन आसान हो जाएगा।

उन्होंने कहा कि इन सुधारों से कैंसर जैसी बीमारियों की दवाइयां सस्ती होंगी और वाहनों की कीमतों में भी कमी देखी जा रही है।

प्रधानमंत्री ने कहा, “2014 से पहले टूथपेस्ट, साबुन और तेल जैसी रोजमर्रा के इस्तेमाल वाली चीजों पर 27 प्रतिशत जीएसटी लगता था। आज केवल पांच प्रतिशत टैक्ट लागू किया गया है। कांग्रेस के शासनकाल में दवाइयों, जांच किट और बीमा पॉलिसी पर भारी टैक्स लगता था। इसीलिए स्वास्थ्य सेवाएं महंगी थीं और (स्वास्थ्य) बीमा आम परिवारों की पहुंच से बाहर था। लेकिन आज ये सब चीजें सस्ती हो गई हैं।”

मोदी ने कहा कि वित्त वर्ष 2025-26 की पहली तिमाही में भारत की अर्थव्यवस्था 7.8 प्रतिशत की दर से बढ़ी। उन्होंने कहा कि इसका मतलब यह है कि भारत दुनिया में सबसे तेजी से बढ़ने वाली प्रमुख अर्थव्यवस्था है।

प्रधानमंत्री ने कहा, “ऑपरेशन सिंदूर के दौरान आप सभी ने देखा कि कैसे हमारे सैनिकों ने आतंक को प्रायोजित करने वालों को सबक सिखाया। पूरा देश हमारे सशस्त्र बलों के लिए गर्व की भावना से भर गया। ऑपरेशन के दौरान, ‘मेड इन इंडिया’ हथियारों ने हमारे देश की रक्षा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। हमारी अर्थव्यवस्था और विनिर्माण क्षेत्र का विकास हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए बहुत महत्वपूर्ण है।”

जनसभा के दौरान मिजोरम के राज्यपाल वीके सिंह, मुख्यमंत्री लालदुहोमा और केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव लामुअल मैदान में मौजूद थे।

मोदी ने आइजोल बाईपास रोड, थेनजोल-सियालसुक रोड और खानकां-रोंगुरा रोड समेत कई सड़क परियोजनाओं की आधारशिला भी रखी।

लगभग 500 करोड़ रुपये की लागत वाली 45 किलोमीटर लंबी आइजोल बाईपास मार्ग का उद्देश्य आइजोल में भीड़भाड़ कम करना और लुंगलेई, सियाहा, लॉन्गतलाई, लेंगपुई हवाई अड्डे व सैरंग रेलवे स्टेशन आदि से कनेक्टिविटी में सुधार करना है। इससे दक्षिणी जिलों से आइजोल तक यात्रा का समय लगभग डेढ़ घंटे कम हो जाएगा। (भाषा)


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