जशपुर

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
जशपुरनगर, 23 सितंबर। आवारा मवेशियों से परेशान किसान रविवार की सुबह से सडक़ में उतर आए। मवेशियों की समस्या को नियंत्रित ना कर पाने से भडक़े किसानों ने ग्राम पंचायत के सरपंच और सचिव के विरुद्ध नारेबाजी करते हुए सडक़ पर धरने में बैठ गए। किसानों के इस आंदोलन से जशपुर सन्ना बगीचा मुख्य मार्ग पूरी तरह से जाम हो गया। धरने में बैठे हुए किसान, सडक़ों में भटक रहे मवेशियों से खेतों में खड़े फसल को हो रहे नुकसान से नाराज है।
किसानों का कहना है कि इन दिनों खेतों में मिर्च, टमाटर, धान की फसल खड़ी हुई है। फसलों की रखवाली के लिए दिन भर मेहनत करते हैं, जिससे ये मवेशी खेतो में नहीं घुस पाते,लेकिन रात होते ही मवेशी खेतो में घुस कर फसल को चट कर जाते है। जिससे उन्हें नुकसान होता है।
पंचायत सचिव को हटाने की उठी मांग
ग्राम पंचायत के सचिव से किसान खासे नाराज दिखे। दरअसल जिस सचिव पर ग्राम पंचायत की जवाबदेही होती है उस सचिव द्वारा सैकड़ों किसानों से दुर्व्यवहार करना किसानों को नागवार गुजरा और उन्होंने प्रशासन को पूर्व सूचना देते हुए रविवार को सन्ना में दो घंटों तक चक्काजाम कर दिया। हालांकि प्रशासन की समझाईश व मांगों पर कार्रवाई की बात से किसानों ने आंदोलन समाप्त कर लिया।
किसानों की यह थी मांगे
किसानों ने आवेदन 23 अगस्त 2024 का ग्राम सभा बैठक 25 अगस्त 2024 के प्रस्तावित अनुमोदन से आहत होकर सन्ना में चक्काजाम कर आंदोलन किया था, जिसमें उनकी मांगे थी- ग्राम पंचायत सन्ना से सचिव राजेन्द्र यादव को हटाया जाए। आवारा छोड़े गए पशु मालिकों पर और आवारा पशुओं पर तत्काल कार्रवाई किया जाए। फसल नुकसान हुए किसान को मुआवजा दिया जाए।
किसानों का कहना था कि जो निर्णय ग्राम सभा में लिया गया था उसका सचिव ने क्रियान्वयन नहीं कराया।और जब इस मुद्दे पर उन्होंने बात की तो उनके साथ दुव्र्यवहार हुआ।