दुर्ग

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दुर्ग, 9 अक्टूबर। प्रशासन अपनी बात मनवाने में लगे हैं मुआवजा को लेकर कोई सुध नहीं ले रहे हैं, जमीन अधिग्रहण के साल बाद भी मुआवजा नहीं मिला है। भारतमाला सडक़ निर्माण में जमीन अधिग्रहण के मामले में शासन द्वारा अपने ही बनाए नियमों का पालन नहीं किया जा रहा है। अपनी जमीन निर्माण सामग्री डालने की सूचना मिलने पर ग्राम खम्हरिया में निर्माण स्थल पहुंचकर प्रदर्शन कर रहे प्रभावितों ने यह बात कहते हुए रोष व्यक्त किया। उन्होंने अपनी जमीन पर खड़े निर्माण सामग्री से लदे वाहनों को बाहर करते हुए बिना मुआवजा काम चालू करने पर उग्र आंदोलन करने की चेतावनी दी।
सडक़ निर्माण के लिए जमीन अधिग्रहण से प्रभावित शिव चंद्राकर ने बताया कि लगभग महीने भर पहले भी प्रभावितों ने उक्त स्थल में अपनी जमीन पर चल रहे निर्माण कार्य को रोककर पहले मुआवजा दो फिर काम चालू करो की मांग रखी थी। उन्हें कल जानकारी मिली की उनकी जमीन पर फिर निर्माण कार्य चालू कर दिए गए। इस पर प्रभावितों ने आज निर्माण स्थल पर पहुंचकर शांतिपूर्ण ढंग से प्रदर्शन किया।
श्री चंद्राकर का कहना है कि भूस्वामियों की बिना मुआवजा व सूचना दिए ही उनकी सहमति के बगैर नियम का अवहेलना करते निर्माण कार्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि वे प्रोजेक्ट का विरोध नहीं कर रहे शासन उनकी जमीन का मुआवजा दे तो वे हट जाएंगे। उन्होंने बताया कि प्रभावितों के प्रदर्शन की खबर के बाद पहुंचे एन एच के अधिकारी भी मुआवजा को लेकर ये कहते हाथ खड़े कर दिए कि ये सेंट्रल का मामला है वे केवल कांट्रेक्टर है। इस पर प्रभावितों ने कहा कि निर्माण सामग्री से भरे वाहन उनकी जमीन से बाहर करें तब यहां खड़े लगभग 40 वाहनों को बाहर किया गया।
प्रभावित का कहना है कि दुर्ग जिला के ग्राम थनौद से होते हुए ग्राम हनोदा, धनोरा, खम्हरिया, उमरपोटी, सिपकोन्हा, बोरीगारका आदि गांवों से होते हुए भारत माला सडक़ निकल रही है, जिसके लिए शासन द्वारा ग्रामीणों की जमीन 6 सितंबर 2018 को भारत राजपत्र में अधिसूचना के तहत अधिग्रहित कर लिया गया है। परन्तु आज 6 वर्ष हो गए भूस्वामियों को मुआवजा की राशि नहीं दी गई है। इस संबंध में भूअर्जन विभाग में पूछने पर 3 वर्ष से यही कहा जाता है कि हम बिल बनाकर स्वीकृति के लिए भेज दिए हैं। भूअर्जन अधिकारी के पास जाने से उनकी बात सुनने के बाद रजिस्ट्री पेपर जमा करने कहा जाता है।
प्रभावितों का कहना है कि कुछ लोग ग्राम पंचायत से स्वीकृति लेकर मकान भी बना लिए हैं व कुछ लोग छोटा व्यवसाय भी कर रहे हैं। उन्होंने कहा जिम्मेदार अधिकारी द्वारा स्थल निरीक्षण करवायें तत्पश्चात परिसंपत्तियों सहित मूल्यांकन कर जमीन की वर्तमान दर का 4 गुना मुआवजा राशि 6 साल की ब्याज सहित दी जाए। प्रदर्शन के दौरान शिव चंद्राकर, सुरेन्द्र, सीमा कुजुर, महेन्द्र चोपड़ा सहित बड़ी संख्या में प्रभावित लोग मौजूद थे।