दन्तेवाड़ा
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‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दंतेवाड़ा, 23 जून। राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण (नालसा) नई दिल्ली के निर्देशानुसार गठित ‘‘जागृति, आशा, संवाद, डान, साथी’’ इकाई के सदस्यों हेतु बैठक, कार्यशाला विगत् दिवस जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा आयोजित किया गया था।
उक्त कार्यशाला में राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण ‘‘नालसा’’ के ‘‘डान’’ योजना के तहत् नशीली दवाईयो के दुरूपयोग से ग्रस्त संवेदनशील क्षेत्रों और आबादी की पहचान कर पहचान कर कानूनी सहायता पहुंचाना और दाण्डिक कानून की जानकारी देना, नशीली दवाओं से प्रभावित व्यक्तियों और परिवारों को कानूनी और सामाजिक सहायता प्रदान करने, ‘‘जागृति’’ योजना के तहत् जमीनी स्तर पर सूचना और पारदर्शिता के लिए विधिक जागरूकता फैलाने, ‘‘संवाद’’ योजना के तहत् अनुसूचित जन जातियों को निशुल्क कानूनी सहायता प्रदान करना, आदिवासियों से संबंधित कानून का प्रचार प्रसार, आदिवासी समुदायों को कानूनी प्रतिनिधित्व, शोषण से सुरक्षा न्याय तक पहुंच एवं हाशिये पर पड़े कमजोर आदिवासियो और विमुक्त, खानाबदोश जनजातियों को न्याय देने एवं ‘‘साथी’’ योजना के माध्यम से संविधान के अनुच्छेद 39 (ई) (एफ) को कायम रखने, बेसहारा बच्चों को कानूनी, पहचान प्रदान, सडक़ों पर या देखभाल गृहो में रहने वाले, निराश्रित बच्चों को सरकारी लाभ, शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा और विभिन्न बालकल्याण कानूनों के तहत् सुरक्षा प्रदाय तथा ‘‘आशा’’ योजना के द्वारा बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम 2006 और किशोर न्याय (बच्चों की देखभाल एवंसंरक्षण) अधिनियम 2015 के कानूनी ढांचे के बारे में जागरूकता, लड़कियों, लडक़ों, माता-पिता, अभिभावकों को बाल विवाह के लिए सामाजिक और पारिवारिक दबाव का सामना करने के लिए सशक्त बनाने, उनमें व्यावसायिक प्रशिक्षण और कौशल विकास सहित वैकल्पिक रणनीति को बढ़ावा देने, बाल विवाह को समाप्त करने के लिए एक संस्थागत ढांचा तैयार करने के संबंध में विस्तारपूवर्क विचार मंथन किया गया।
इस दौरान प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश सह अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण विजय कुमार होता की अध्यक्षता में ‘‘नालसा’’ के उपरोक्त पांचों योजना के प्रभावी क्रियान्वयन हेतु चर्चा की गई। उक्त बैठक में कलेक्टर कुणाल दुदावत दंतेवाड़ा, पुलिस अधीक्षक गौरव राय कमेटी के सदस्य, और न्यायाधीशगण प्रमुख रूप से मौजूद थे।