जांच में 55 लोगों द्वारा अवैध रूप से कब्जा करने का खुलासा
पार्षद आलोक दुबे ने कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन, कहा-सख्ती से कार्रवाई होनी चाहिए
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
अंबिकापुर, 7 मई। अम्बिकापुर नगर निगम क्षेत्र से लगे ग्राम पंचायत रनपुर खुर्द के चोरकाकछार के संरक्षित वन क्षेत्र क्रमांक 2581 खैरबार बीट में 2 एकड़ वन भूमि को 50 एवं 100 रुपये के स्टाम्प पर नोटरी कराकर 37 लोगों को 3 करोड़ में बेचने का मामला सामने आया है।
शिकायतकर्ता विकास सोनी के आवेदन पर सरगुजा कलेक्टर ने जांच हेतु तहसीलदार और पटवारी को निर्देशित किया था। पटवारी द्वारा तहसीलदार को जो जांच रिपोर्ट का प्रतिवेदन प्रस्तुत किया गया है, उसमें यहां अवैध रूप से रिजर्व फॉरेस्ट में 55 लोगों द्वारा कब्जा कर मकान बनाने का उल्लेख किया गया है।
अंबिकापुर नगर निगम के वरिष्ठ भाजपा नेता व पार्षद आलोक दुबे ने इस मामले को लेकर सरगुजा कलेक्टर बिलास संदीपन भोस्कर को ज्ञापन सौंप कर पूरे मामले से अवगत कराकर उचित कार्रवाई की मांग की है, साथ ही आलोक दुबे ने बताया कि अंबिकापुर के डेमोग्राफी को चेंज करने कुत्सित प्रयास चल रहा है, इस पर सख्ती से कार्रवाई होनी चाहिए और रिज़र्व फॉरेस्ट के क्षेत्र को जल्द ही खाली कराया जाना चाहिए।
कलेक्टर को सौंपे गए ज्ञापन में पार्षद आलोक दुबे ने आरोप लगाते हुए बताया कि अम्बिकापुर नगर निगम क्षेत्र से लगे ग्राम पंचायत रनपुर खुर्द के चोरकाकछार के संरक्षित वन क्षेत्र क्रमांक 2581 खैरबार बीट क्रमांक में स्थित है। इसको मुजाहिद हुसैन साहेब हुसैन सलीम अंसारी, कलीम अंसारी, एवं रसीद द्वारा करीब 2 एकड़ जमीन को 50 एवं 100 रुपये के स्टाम्प पर नोटरी कराकर करीब 3 करोड़ रुपये में बेचा है।
नगर निगम अम्बिकापुर के महात्मा गांधी वार्ड क्र. 21 के सीमा से लगे संरक्षित वन क्षेत्र चोरकाकछार वन संरक्षित क्षेत्र हैं। जो खैरबार बीट अन्तर्गत संरक्षित वन क्षेत्र क्रमांक 2581 का हिस्सा है। जिसको पिछले 2 वर्षों से तकिया मजार के पास रहने वाले रसीद उर्फ बाबू, समीम उर्फ रज्जू (रिटायर्ड 2 स्टार का डिप्टी रेंजर), एजाज (अजीम का बेटा) तीनों मिलकर चोरकाकछार के संरक्षित वन क्षेत्र क्रमांक 2581 के लगभग 2 एकड़ वन भूमि को 100-100 रुपये के स्टाम्प पर 1 से डेढ़ लाख डिसमिल के हिसाब से करीब 37 लोगों को बेच दिया है।
इसी क्रम में रनपुर खुर्द तकियापारा निवासी मो. मुजाहिद हुसैन, साहेब हुसैन, सलीम अंसारी, कलीम अंसारी, द्वारा जो तकिया पारा रनपुर खुर्द निवासी है। इसी प्रकार रसीद तकिया निवासी-100-100 रुपये के स्टाम्प पर नोटरी कराकर क्रमश: इमामद्दीन, पिता रमजान अंसारी, मो. मुजाहिद हुसैन, पिता हदीब अंसारी, मो. साबिर अंसारी, पिता जलालुद्दीन अंसारी को 350000/- (तीन लाख पच्चास हजार रुपये) 70835 सत्तर हजार आठ सौ पैतिस एवं 85000 (पच्चासी हजार) रुपये में वन संरक्षित शासकीय वन विभाग की भूमि को 100-100 रुपये के स्टाम्प पर नोटरी कराकर बेच दिया है जो यह एक गंभीर अपराधिक कृत्य है।
इस चोरकाकछार के शासकीय वन संरक्षित क्षेत्र जो वन विभाग की रिजर्व फॉरेस्ट की जमीन है,जिसके ये मालिक नहीं है। मुख्य वन संरक्षक सरगुजा वृन्त एवं वन मंडलाधिकारी सरगुजा के निवास से लगभग 1 कि.मी. दूर भूमि को वन विभाग के बीटगार्ड,फोरस्टर, डिप्टी रेंजर एवं रेंजर को मोटी रकम देकर बिना कोई डर. भय के सागौन वृक्षारोपण नष्ट कर घर बना लिये हैं। यह आश्चर्य एवं जाँच का विषय है। वन विभाग के रेंजर डिप्टी रेंजर, सिपाही, बीटगार्ड इस हो रहे अतिक्रमण की कोई भी लिखित शिकायत न तो सी.सी. एफ. सरगुजा, डी. एफ. ओ. सरगुजा, एस. डी.ओ. फारेस्ट अम्बिकापुर के कार्यालय में की है। यह इस बात का प्रमाण है कि वन विभाग के अमले की इस हो रहे अवैध कब्जे में मोटी रकम लेकर और कब्जाधारियों को कब्जा कराने में इसका सहयोग है। दिनांक 08.अक्टूबर 2024 को कलेक्टर सरगुजा के निर्देशपर रनपुर खुर्द क्षेत्र के पटवारी नवीन कुमार श्रीवास्तव प.ह.न. 09. रा.नि.मं. 02 द्वारा लिखित में तहसीलदार अम्बिकापुर को प्रस्तुत जांच प्रतिवेद में यह प्रमाणित हो गया है कि यह अतक्रमित क्षेत्र जो 100-100 रुपये के स्टाम्प पर बेचा गया है। संरक्षित वन क्षेत्र क्र. 2581 चोरकाकछार खैरबार बीट का ही हिस्सा है।
पार्षद आलोक दुबे ने कहा कि भाजपा की सरकार प्रदेश में है, और इस सरगुजा अम्बिकापुर को एक योजना के तहत एक वर्ग विशेष के लोगों के द्वारा यहां के डेमोग्राफी चेंज करने की कुत्सित प्रयास है और इस सरगुजा को भविष्य का मुर्शिदाबाद बचाने की योजना है। संरक्षित वन क्षेत्र के 2 एकड़ जमीन को बेचने वाले भी एक वर्ग विशेष के लोग है। और खरीदने वाले भी एक वर्ग विशेष के लोग है।
इस संरक्षित वन क्षेत्र चोरकाकछार का क्र. 2581 के जंगल की 2 एकड़ जमीन को साहेब हुसैन अंसारी, सलीम अंसारी,कलीम संआरी,साविर अंसारी जिनको बेचे हैं। उनके नाम लेने वोले संदिग्ध लोग एक वर्ग विशेष के लोग हैं। जो संभवत: बंग्लादेश, पश्चिम बंगाल, झारखण्ड, बिहार, उड़ीसा के हैं,यह जांच का विषय है। जो जमीन 100 रुपये के स्टाम्प पर खरीदे हैं वो इमामामुद्दरप इसके अलावा,हमीम अंसारी, अफताब अंसारी,जहांगीर,इबरार,रमजान,पजू,तौकित, सातिफ,मोटु खान,मुख्तार,गिलामी सहित अन्य लोग हैं।
श्री दुबे ने कहा कि शासकीय जमीन एवं संरक्षित वन चेक की जमीन (रिजर्व फारेस्ट) की जमीन को जो सरकार के आधिपत्य की जमीन है। कोई भी निजी व्यक्ति इस जमीन को किसी भी सूरत में न तो स्टाम्प के माध्यम से बिक्री कर सकता है और न ही हस्तांतरित। यह एक अपराधिक कृत्य है।