‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 23 मार्च। पूर्व पार्षद हेमंत ओस्तवाल ने नजूल अतिक्रमित भूमि को कलेक्टर से निरस्त करने की मांग की। साथ ही लाखों-करोड़ों रुपए की बेशकीमती जमीनों का जो खेल नजूल विभाग में हो रहा है उसे भी रोकने की मांग की।
पूर्व पार्षद श्री ओस्तवाल ने जारी विज्ञप्ति में कहा कि पुरानी सिविल लाईन राजनांदगांव निवासी आवेदक रूपचंद भीमनानी स्थित नजूल भूमि सीट क्र. 46 डी प्लाट नं. 12 में से 490 वर्गफीट का स्थाई पट्टा प्रदाय किए जाने जो आवेदन पत्र प्रस्तुत किया गया है, जो नजूल संधारण खसरा में मोहल्ला टांकापारा सीट क्र. 46 डी भूखंड क्र. 12/1 क्षेत्रफल 4478.28 वर्गमीटर रास्ता छग शासन नजूल के नाम से दर्ज है व रा.नि. नजूल द्वारा आवेदित भूखंड के अंश भाग क्षेत्रफल 44.60 वर्गमीटर पर आवेदक का कब्जा होना, जो बताया गया है उस सम्पूर्ण मामले की कब्जे की जांच करवाकर नजूल पट्टे की भूमि को तत्काल पट्टा निरस्त किए जाने की मांग पूर्व पार्षद हेमंत ओस्तवाल ने कलेक्टर से किया है।
श्री ओस्तवाल ने बताया कि शहर में नजूल अतिक्रमित भूमि के नाम पर जो स्थाई पट्टा प्रदान किए जाने एवं कीमती जमीनों का जो खेल जिला कार्यालय के नजूल विभाग में हो रहा है, वह शासन के हित में नहीं है। उन्होंने कहा कि क्या उक्त नजूल भूमि उक्त आवेदक के कब्जे में कितने वर्षों से है।
इसकी जांच की जाए और शासन के नजूल राजस्व रिकार्ड में अवैध कब्जे का जो संधारण किसके नाम पर कब से है, उसकी भी जांच की जाए, क्योंकि राज्य शासन द्वारा उक्त नजूल अतिक्रमित भूमि जो कांग्रेस के भूपेश बघेल के शासन में जनहित के लिए जो लाई गई थी।
लेकिन उसका जनहित में उपयोग ना होकर उक्त भूमि स्वामियों और भूमाफियाओं द्वारा अतिक्रमित भूमि को जो लाखों-करोड़ों रुपयों की भूमि को बड़े भूभाग क्षेत्रफल में अतिक्रमित भूमि दर्शाकर और कुछ भ्रष्ट अधिकारियों की मिलीभगत के चलते जो नजूल अतिक्रमित भूमि का खेल राजनांदगांव निगम सीमा में हुआ है, उसका खुलासा अतिक्रमित भूमि स्वामियों को जो आबंटित क्षेत्रफल जिस वार्ड में जिस जगह पर जिन भूमि स्वामियों के नाम से किया गया है, उसका खुलासा समाचार पत्रों में करवा दीजिए। जिससे अतिक्रमित भूमि के नाम पर डॉ. रमन सिंह के विधानसभा क्षेत्र में जिन-जिन भूमि स्वामियों से कितनी राशि लेकर अतिक्रमित भूमि को उन भूमि स्वामियों के नाम किया गया है, उसमें गंभीर भ्रष्टचार सामने आएगा।