कारोबार

कैट ने वित्तमंत्री को ई-इनवॉइसिंग पर लिखा पत्र
19-Dec-2020 2:40 PM
कैट ने वित्तमंत्री को ई-इनवॉइसिंग पर लिखा पत्र

रायपुर, 19 नवंबर। कैट सीजी चैप्टर ने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन को ई-इनवॉइसिंग के प्रावधान को 1 जनवरी 2021 से रु. 100 करोड़ तक के टर्नओवर वाले व्यापारियों पर लागू नहीं करने हेतु आग्रह किया।

कॉन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) के प्रदेश अध्यक्ष अमर परवानी, कार्यकारी अध्यक्ष मंगेलाल मालू, विक्रम सिंहदेव, महामंत्री जितेंद्र दोषी, कार्यकारी महामंत्री परमानंद जैन एवं कोषाध्यक्ष अजय अग्रवाल ने बताया कि आज कैट के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अमर पारवानी ने केन्द्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन को भेजे गए पत्र में ई-इनवॉइसिंग के प्रावधान को 1 जनवरी 2021 से रु. 100 करोड़ तक के टर्नओवर वाले व्यापारियों पर लागु नहीं करने हेतु आग्रह किया।

कैट के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अमर पारवानी ने बताया कि केन्द्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को एक पत्र भेजकर वित्त विभाग, भारत सरकार द्वारा जारी अधिसूचना 612,10 नवंबर की ओर ध्यान आकर्षित कराया गया है। पत्र में उहोंने उल्लेख किया कि ई-इनवॉइसिंग संबंधित प्रावधान 1 अक्टूबर 2020 से ऐसे व्यापारियों जिनका टर्नओवर रु. 500 करोड़ से अधिक है, पर लागू किया गया। परंतु उक्त अधिसूचना द्वारा यह प्रावधान ऐसे व्यापारियों जिनका टर्नओवर रु.100 करोड़ से अधिक है पर भी 1 जनवरी 2021 से लागू कर दिया गया है।

श्री पारवानी ने बताया कि इस पत्र के माध्यम से निम्न तथ्यों से अवगत कराया गया है ई-इनवॉइसिंग संबंधित प्रावधान ऐसे व्यापारियों जिनका टर्नओवर रु. 500 करोड़ से अधिक है उन पर 1 अक्टूबर 2020 से लागु किया गया है । इस नवीन प्रणाली को लागु हुए अभी केवल दो माह ही हुए है और इस नवीन प्रणाली के प्रभाव का अध्ययन किये बिना इसके प्रावधानों में परिवर्तन करना उचित नहीं है। सम्पूर्ण भारत अभी भी कोरोना काल का सामना कर रहा है। आपके द्वारा व्यापार जगत को इसका सामना करने हेतु कई उपाय किए गए है जिसकी हम सराहना करते है, परन्तु व्यापार जगत अभी भी कोरोना काल के दुष्प्रभावों को झेल रहा है, अत: इस कठिन समय में इस प्रकार के प्रावधानों को लागू किया जाना सर्वथा अनुचित है।

श्री पारवानी ने आगे कहा कि उपरोक्त तथ्यों को ध्यान में रखते हुए  आग्रह किया कि उक्त अधिसूचना को वापस लिया जावे एवं ई-इनवॉइसिंग के प्रावधान 1 जनवरी 2021 से रु. 100 करोड़ तक के टर्नओवर वाले व्यापारियों पर लागू नहीं किए जावे।


अन्य पोस्ट