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मुख्यमंत्री ने सुरक्षित बैंकिंग पहल शुरू की
रायपुर, 17 अगस्त। साइबर धोखाधड़ी के बढ़ते ख़तरों से निपटने और नागरिकों को डिजिटल साक्षरता के माध्यम से सशक्त बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए, छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने रायपुर स्थित मुख्यमंत्री निवास से एसबीआई साइबर सतर्कअभियान का शुभारंभ किया।
राकेश सिन्हा, उप महाप्रबंधक (व्यवसाय एवं संचालन) भारतीय स्टेट बैंक ने बताया कि एसबीआई ने इसे तैयार किया और कार्यान्वित कर रहा है, छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश में साइबर धोखाधड़ी से बचाव और सुरक्षित बैंकिंग व्यवहार के प्रति व्यापक जागरूकता फैलाने का लक्ष्य रखती है। एक विशेष रूप से तैयारसाइबर सतर्कता रथको हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया।
श्री सिन्हा ने बताया कि यह रथ छत्तीसगढ़ के 29 तथा पड़ोसी राज्य मध्यप्रदेश के 42 ऐसे स्थानों पर जाएगा जिन्हें राज्य की साइबर पुलिस ने साइबर धोखाधड़ी के लिए सर्वाधिक संवेदनशील हॉटस्पॉट के रूप में चिन्हित किया है। यह रथ चलते-फिरते कक्षा की तरह कार्य करेगा और नुक्कड़ नाटक, कठपुतली शो, संवादात्मक सभाएँ तथा अन्य गतिविधियों के माध्यम से लोगों को ऑनलाइन धोखाधड़ी और उसके रोकथाम के उपायों के बारे में जागरूक करेगा।
श्री सिन्हा ने बताया कि भारत में हाल के वर्षों में साइबर अपराधों, विशेषकर आम नागरिकों को निशाना बनाने वाली वित्तीय धोखाधडिय़ों में तेज़ी से वृद्धि हुई है। डिजिटल भुगतान प्रणाली, ऑनलाइन बैंकिंग और ई-कॉमर्स ने लोगों के जीवन में सुविधा लाई है, लेकिन इसके साथ ही कई नई कमजोरियाँ भी सामने आई हैं। अनजान कॉल्स, नकली मोबाइल ऐप्स, फर्जी लिंक, सिमक्लोनिंग और सोशल इंजीनियरिंग जैसी तरकीबों से लोग अक्सर धोखाधड़ी का शिकार बन जाते हैं।
श्री सिन्हा ने बताया कि राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) के अनुसार, भारत में साइबर अपराध मामलों की संख्या हर वर्ष दहाई अंक की दर से बढ़ रही है। मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ जैसे राज्यों में, जहाँ शहरी, अर्ध-शहरी और ग्रामीण आबादी का मिश्रण है, चुनौती और भी बड़ी है। डिजिटल सेवाओं का प्रसार तो बढ़ा है, लेकिन साइबर स्वच्छता के प्रति जागरूकता अब भी सीमित है। बहुत से नए इंटरनेट उपयोगकर्ता बुनियादी सावधानियों से अनजान होते हैं, जिससे वे धोखेबाज़ों का आसान शिकार बन जाते हैं।
श्री सिन्हा ने बताया कि साइबर सतर्कअभियान को चार माह तक चलने वाले एक सतत जागरूकता कार्यक्रम के रूप में तैयार किया गया है, जिसमें छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश के कुल इकहत्तर हॉटस्पॉट शामिल हैं। इसके केंद्र में हैसाइबर सतर्कता रथ, जो कस्बों, गाँवों और बाज़ारों तक पहुँचेगा और आम साइबर धोखाधडिय़ों तथा उनसे बचाव के उपायों का जीवंत प्रदर्शन करेगा।


