बीजापुर

वन क्षेत्र में वैज्ञानिक प्रबंधन के लिए कूप कटाई कार्य जारी
13-Dec-2025 4:07 PM
वन क्षेत्र में वैज्ञानिक प्रबंधन के लिए कूप कटाई कार्य जारी

ग्रामीणों को लाभांश से होगा गांव का विकास

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

बीजापुर, 13 दिसंबर।  वनमंडल अंतर्गत आईडब्यूसी /ढ्ढढ्ढढ्ढ मोसला कूप कक्ष क्र. ओ.ए. 269 में वर्ष 2024-25 एवं 2025-26 के लिए भारत सरकार द्वारा स्वीकृत कार्ययोजना के अनुसार वैज्ञानिक एवं वन-वर्धनिक दृष्टि से कूप कटाई कार्य प्रगति पर है। कुल 181.420 हेक्टेयर क्षेत्र में कार्य योग्य 161.338 हेक्टेयर क्षेत्रफल पर किए जा रहे इस कार्य का उद्देश्य जंगल को स्वस्थ, संतुलित और उत्पादक बनाए रखना है।

भारत सरकार, पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय के एकीकृत क्षेत्रीय कार्यालय नागपुर द्वारा 11 नवंबर 2024 को जारी स्वीकृति आदेश के बाद कूप कटाई कार्य प्रारंभ किया गया था। वर्ष 2024-25 के दौरान 428 वृक्षों की वैज्ञानिक पद्धति से कटाई कर 1135 नग ल_ा (221.576 घन मीटर), 19 नग बल्लियां एवं 100 नग चट्टे को नीलाम डिपो बीजापुर में विधिवत परिवहन कराया गया है। वर्ष 2025-26 में शेष 1382 वृक्षों की कटाई हेतु कार्य पुन: प्रारंभ किया गया, जिसके अंतर्गत 26 नवंबर से 9 दिसंबर 2025 तक 160 वृक्षों की कटाई की जा चुकी है। ये सभी लकडिय़ां नियमानुसार कूप में सुरक्षित रखी गई हैं।

वन विभाग द्वारा स्पष्ट किया गया है कि कटाई कार्य केवल सूखे, गिरे हुए, आड़े-तिरछे एवं वन विकास में बाधा उत्पन्न करने वाले वृक्षों तक सीमित है। इसके अतिरिक्त महुआ व तेंदूपत्ता जैसे फलदार प्रजातियों के केवल वे वृक्ष चिह्नित किए गए हैं, जो वर्षों से बरसात में गिर चुके थे।

वनमंडलाधिकारी के अनुसार, ग्रामीणों को भी इस कार्य का प्रत्यक्ष लाभ मिलेगा। 13 सितंबर 2025 को ग्राम पेद्दा कोड़ेपाल में आयोजित बैठक में ग्रामीणों को यह जानकारी दी गई थी कि कूप कटाई से प्राप्त लाभांश राशि ग्राम की वन प्रबंधन समिति में जमा होकर गांव के विकास कार्यों—जैसे मूलभूत सुविधाएं, सामुदायिक ढांचे और रोजगार सृजन में उपयोग की जाएगी।

हाल ही में कुछ ग्रामीणों द्वारा कूप कटाई रोके जाने की घटना सामने आई थी, जिस पर वन विभाग ने अपील की है कि यह कार्य पूर्णत: स्वीकृत योजना एवं वैज्ञानिक मानकों के अनुरूप किया जा रहा है। कटाई का उद्देश्य किसी प्रकार का नुकसान पहुंचाना नहीं, बल्कि जंगल को पुनर्जीवित कर उसकी गुणवत्ता बढ़ाना है, ताकि जंगल दीर्घकाल तक स्वस्थ रहे और स्थानीय समुदायों को निरंतर आर्थिक लाभ मिलता रहे। वन विभाग ने सभी ग्रामीणों से सहयोग प्रदान करने की अपील की है, ताकि वन संरक्षण एवं गांव के विकास हेतु यह महत्वपूर्ण प्रक्रिया सुचारू रूप से पूरी हो सके।

 

मतदान केंद्रों का जायजा

दंतेवाड़ा, 13 दिसंबर। विशेष गहन पुनरीक्षण-2026 के तहत कार्यालय मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी छत्तीसगढ़ द्वारा नियुक्त सचिव ग्रामोद्योग विभाग एवं रोल ऑब्जर्वर श्यामलाल धावड़े ने विगत दिवस तहसील कुआकोंडा के अंतर्गत मतदान केंद्र क्रमांक 218 नकुलनार एवं मतदान केन्द्र क्रमांक 262 फुलपाड़-2 की जांच की।

निरीक्षण के दौरान मतदान केंद्रों की व्यवस्थाओं एवं रिकॉर्ड की स्थिति की जांच करते हुए बीएलओ को आवश्यक निर्देश दिया। इसके साथ ही उनके द्वारा जनपद पंचायत दंतेवाड़ा में समीक्षा बैठक भी ली गई। बैठक में तहसील दंतेवाड़ा के समस्त बीएलओ एवं सुपरवाइजरों को निर्वाचक नामावलियों के विशेष गहन पुनरीक्षण हेतु स्पष्ट निर्देश देते हुए उनके द्वारा कहा कि सभी बीएलओ को ऐप के माध्यम से ट्रैकिंग कार्य को सर्वोच्च प्राथमिकता देने तथा पुनरीक्षण प्रक्रिया को समयावधि में पूर्ण करे।

इससे निर्वाचन कार्य की पारदर्शिता और सटीकता सुनिश्चित होगी।

बैठक में अनुविभागीय अधिकारी लोकांश एल्मा, तहसीलदार परमानंद बंजारे तथा नायब तहसीलदार भदूराम धनकर मौजूद थे।


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