राजनांदगांव

धर्मांतरण-रासुका के विरोध में उतरी भाजपा
17-Jan-2023 3:26 PM
धर्मांतरण-रासुका के विरोध में उतरी भाजपा

भाजपाईयों का आरोप कानून व्यवस्था नियंत्रण से बाहर

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 17 जनवरी।
प्रदेश भाजपा के आह्वान पर सोमवार को जिला भाजपा द्वारा महावीर चौक के समीप ओवरब्रिज के नीचे कांग्रेस सरकार द्वारा धर्मांतरण मुद्दे पर रासुका लगाए जाने का विरोध में धरना प्रदर्शन किया गया। इस दौरान भाजपा जिलाध्यक्ष रमेश पटेल ने प्रस्तावना देते विषय को रखा और सभी नेताओं ने एक स्वर में इसकी निंदा की।

नेताओं ने कहा कि छत्तीसगढ़ में कांग्रेस ने एक बार फिर से आपातकाल लगाने की साजिश रची है। अपने साम्प्रदायिक तुष्टीकरण की राजनीति के तहत उसने प्रदेश में धर्मांतरण को बढ़ावा देने रासुका लगा दिया है। अत्यधिक असामान्य परिस्थितियों में उठाए जाने वाले इस कदम ने कांग्रेस की विभाजनकारी राजनीति की पोल खोल दी है। भाजपा नेताओं ने कांग्रेस पर आरोप लगाते कहा कि स्पष्ट तौर पर कांग्रेस छत्तीसगढ़ में तुष्टीकरण और धर्मांतरण के एजेंडे पर काम कर रही है। किसी सरकार का काम धर्म और संस्कृति को कुचलना तथा धर्मान्तरण को बढ़ावा देना नहीं होता, लेकिन छत्तीसगढ़ में कांग्रेस धर्मांतरण के पक्ष में अपने अधिकार का सीधे दुरुपयोग कर रही है। वह मिशनरियों के हाथ में खेल रही है।

सभी वर्गों का आक्रोश दोगुना - पारख
श्री खूबचंद पारख ने कहा कि छत्तीसगढ़ में भूपेश बघेल ने अघोषित आपातकाल लागू करने की शुरूआत लोकतांत्रिक आंदोलनों को कुचलने कानून बनाकर काफी पहले कर दी थी, लेकिन इससे जनता के सभी वर्गों का आक्रोश दोगुना हो गया। इससे घबराकर उन्होंने रासुका के बहाने आपातकाल जैसी अलोकतांत्रिक स्थिति का निर्माण कर दिया है, जब राज्य सरकार मान रही है कि उससे राज्य की कानून व्यवस्थाएं नहीं संभल रही है, तो उसे अपनी विफलता स्वीकार करते कुर्सी छोड़ देना चाहिए।

मिशनरी के सामने समर्पण - संतोष
सांसद संतोष पांडे ने कहा कि सीएम भूपेश बघेल ने रासुका के जरिये आदिवासी संस्कृति को कुचलने का घृणित षड्यंत्र रचा है। वे चाहते हैं कि आदिवासी संस्कृति समाप्त हो जाए। आदिवासी समाज ईसाई समुदाय में कन्वर्ट हो जाए और चर्च के प्रभाव में आ जाए। ऐसा लगता है कि सुनियोजित षड्यंत्र के तहत ही आदिवासी समाज में धर्मांतरण के जरिये विखंडन और वर्ग संघर्ष का खाका तैयार किया गया है। आदिवासी संस्कृति के विरुद्ध भूपेश बघेल के बेहद खतरनाक इरादों को यह रासुका व्यक्त कर रहा है। अपनी संस्कृति को बचाने में लगे आदिवासियों के संघर्ष को कुचलने उन्हें बेवजह जेल में डालने का इंतजाम किया गया है, ताकि आदिवासी समाज को धर्मांतरण का विरोध करने से रोका जा सके।

विभिन्न आंदोलनों का दमन - भाजपा नेता
धरने में भाजपा नेताओं ने एक स्वर में कहा कि भूपेश बघेल सरकार द्वारा रासुका के दुरूपयोग के पीछे जो कारण हैं, उनमें एक अहम वजह यह है कि हर मोर्चे पर पूरी तरह विफल सरकार के खिलाफ  जबरदस्त विरोध और असंतोष फैला हुआ है। सभी वर्ग इस सरकार की वादा खिलाफी के विरुद्ध आंदोलित  हैं। कर्मचारियों से लेकर, शिक्षित बेरोजगार युवा सडक़ पर उतर रहे हैं। धरना दे रहे हैं। प्रदर्शन कर रहे हैं। सरकार भयभीत है। विरोध के सभी स्वर कुचलने तैयार है, इसीलिए पूरे प्रदेश में रासुका लागू किया है कि कहीं भी किसी भी प्रदर्शन में सरकार का लोकतांत्रिक तरीके से विरोध करने वालों को जेल में ठूंस दिया जाए।

धरने में प्रमुख रूप से संबोधित करने वालों में रमेश पटेल, राजेन्द्र गोलछा, शिव वर्मा, किशुन यदु, शिव वर्मा, पवन मेश्राम, अशोकादित्य श्रीवास्तव, समीर श्रीवास्तव, गोविंद देवांगन, आशीष युसुफ, रविन्द्र रामटेके, गोलू सूर्यवंशी शामिल हैं। राजेन्द्र गोलछा ने ज्ञापन का पठन और आभार प्रदर्शन सचिन बघेल तथा संचालन तरूण लहरवानी ने किया।


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