रायपुर

स्कूल में पति ही सब कुछ
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर/दुर्ग, 15 सितंबर। बिलासपुर में नियुक्ति के बाद से कभी अवकाश तो कभी बिना अवकाश स्कूल न जाने की शिकायतों के आधार पर निलंबित व्याख्याता को प्राचार्य पदोन्नत करने की जांच शुरू हो गई है। यह उपकार दुर्ग के तत्कालीन डीईओ ने किया था।
सेमरिया स्थित आत्मानंद स्कूल (सेजस) की प्राचार्य श्रीमती वंदना गुप्ता 2008 में व्याख्याता एलबी चयनित हुई थी। श्रीमती वंदना गुप्ता 2011 में करीब 10 वर्षों तक निलंबित भी रहीं। यह निलंबन, बिलासपुर में नियुक्ति के बाद से कभी अवकाश तो कभी बिना अवकाश स्कूल न जाने की शिकायतों के आधार पर किया गया था। इस मामले को लेकर मई -24 में विभागीय जांच भी कराई जा चुकी थी। किंतु दुर्ग के पूर्व जिला शिक्षा अधिकारी के उपकार से बहाल हुई और पदोन्नत भी। इनके लिए वरिष्ठता क्रम के कई व्याख्याताओं, प्रधान पाठक को डीईओ ने सुपरशीड कर शिक्षा कर्मी रहीं श्रीमती गुप्ता को पदोन्नत किया।
इस मामले की शिकायत प्रदेश शिक्षक संघ के महामंत्री रूद्र नारायण सिन्हा ने डीपीआई से शिकायत कर कहा है कि तत्कालीन डीईओ ने अपात्रों का चयन किया। डीईओ का कहना था कि रिक्त स्थान की पूर्ति के लिए वर्ष 21 में शासन के निर्देश पर पदोन्नत किया गया था।
वहीं संयुक्त संचालक दुर्ग आर एल ठाकुर का कहना है कि मामले की शिकायत मिली है, जांच चल रही है। श्रीमती वंदना के पति भी उसी स्कूल से रिटायर्ड हुए थे। और पति का स्कूल में पूरा हस्तक्षेप बना हुआ है। श्री गुप्ता दिन भर स्कूल में मौजूद रहते हैं। इससे कर्मचारी शिक्षक बच्चे परेशान रहते हैं। स्कूल में शाम 6 बजे तक सभी को रोक कर रखती हैं। व पति स्कूल के दैनिंदन कामों और बजट खर्च पर भी हस्तक्षेप करते हैं ।कलेक्टर और डीपीआई से निकट के संबंध बताने वाली प्रभारी प्राचार्या मैडम, सीएम साय को देवर, पूर्व सीएम बघेल को जीजा और सीएस को पति के फ्रेंड बताकर मनमाना व्यवहार करती हैं।