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उम्र सत्यापन में पुलिस ने की थी चूक, बताया था पीड़िता को नाबालिग
बिलासपुर, 15 सितंबर। पीड़िता की अपील पर हाईकोर्ट ने पॉक्सो एक्ट, दुष्कर्म और अपहरण के एक आरोपी को जमानत दी है। हालांकि उसके पिता ने जमानत का विरोध किया था। हाईकोर्ट ने पुलिस विवेचना में खामी भी पाई है।
कोरबा जिले के बालको नगर इलाके में रहने वाले युवक का इस युवती के साथ प्रेम संबंध है। 27 जनवरी 2021 को लड़की के पिता ने थाने में उसकी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई। पुलिस ने आरोपी के विरुद्ध अपहरण, पॉक्सो एक्ट व रेप का मुकदमा दर्ज किया। उसे एक माह बाद गिरफ्तार कर लिया गया और लड़की को उसके पिता के सुपुर्द कर दिया। आरोपी युवक ने निचली अदालत में जमानत की अर्जी लगाई, जो खारिज हो गई। इसके बाद उसने हाईकोर्ट में याचिका लगाई। कोर्ट में अभियुक्त के अधिवक्ता की ओर से बताया गया कि पुलिस ने जिसे पीड़िता बताया है वह अपनी मर्जी से युवक के साथ गई थी और दोनों एक माह तक दिल्ली व पटना में साथ रहे हैं। एक दूसरे से दोनों प्रेम करते हैं और शादी करना चाहते हैं। पीड़िता बालिग है और वह नहीं चाहती इस मामले में कोई कार्रवाई हो। जस्टिस आरसीएस सामंत की कोर्ट में वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए युवती का पक्ष सुना गया। पीड़िता ने यह बात दोहराई और कहा कि वह आरोपी युवक के साथ शादी करना चाहती है। इधर युवती के पिता ने जमानत का विरोध यह कहते हुए किया कि उसकी बेटी अभी नाबालिग है। कोर्ट के संज्ञान में यह बात लाई गई कि पुलिस ने लड़की के उम्र के निर्धारण के लिये केवल सरपंच द्वारा एक जारी प्रमाण पत्र प्रस्तुत किया है जिसकी वैधानिकता नहीं है। विवेचना में पीड़िता की उम्र को लेकर चूक बरती गई है।