जशपुर
जबड़े का डॉक्टर नहीं, चिंता में परिवार
वाहिद अंसारी
जशपुरनगर, 13 सितंबर (‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता)। सरकार द्वारा गरीब व असहाय लोगों के इलाज के लिए शुरू की गई आयुष्मान कार्ड योजना से गरीब तबके के लोगों को नया जीवन मिल रहा है, लेकिन भालू के हमले से कोरवा जिंदगी और मौत से लड़ रहा है।
महेंदर कोरवा को भालू ने हमला कर जबड़ा और सिर पर गंभीर चोट पहुंचाया है। अब आयुष्मान कार्ड से कोरवा को इलाज जारी है। आयुष्मान कार्ड योजना से पहाड़ी कोरवा को इलाज में काफी सहुलियत मिली, लेकिन जबड़ा का डॉक्टर नहीं होने से परिवार चिंता में।
अम्बिकापुर होलीक्रॉस अस्पताल से महेंदर कोरवा के पोता ने ‘छत्तीसगढ़’ को बताया कि अभी मेरा दादा का इलाज आयुष्मान कार्ड के तहत इलाज किया जा रहा है। जबड़े में ज्यादा जख्म पहुंचाने की वजह से बातचीत और खाना नहीं खा रहा हैं।
मामला जशपुर जिले के बगीचा ब्लॉक के ग्राम पंचायत हर्राडीपा की है। पीडि़त परिवार और ग्रामीणों से प्राप्त जानकारी के अनुसार जशपुर जिले के बगीचा ब्लॉक में एक पहाड़ी कोरवा परिवार अपने घर के मुखिया के स्वास्थ्य होने के इंतजार में बैठा हुआ है। उसके घर में सन्नाटा पसरा है।
जानकारी के अनुसार पहाड़ी कोरवा महेंदर कोरवा 26 अगस्त को सुबह 8 बजे अपने खेतों में काम करने जा रहा था, तभी उसका सामना मादा भालू से हो गया। भालू के हमले से महेंदर राम के सिर के साथ जबड़ा उखाड़ डाला, आनन फानन में परिवार के लोग महेंदर राम को पहले सन्ना अस्पताल ले गए, जहां उसकी गंभीर दशा को देखकर उसे सन्ना से 3 सितंबर को अम्बिकापुर जिला अस्पताल भेज दिया गया।
परिवार वाले उसे लेकर जिला अस्पताल तो ले गए, लेकिन वहां के डॉक्टरों ने उसे रायपुर ले जाने कहकर अपना पल्ला झाड़ लिया। किसी तरह परिवार वालों की मिन्नतों के बाद उसे अम्बिकापुर होलीक्रॉस अस्पताल में भर्ती कर लिया गया। और 3 सितंबर से महेंदर कोरवा का इलाज जारी है।



