दुर्ग
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दुर्ग, 11 नवंबर। जीवन और मृत्यु, अंधकार और प्रकाश के बीच संतुलन का प्रतीक पर्व हैलोवीन डे मनाने की परंपरा की शुरुआत भारती विश्वविद्यालय में खाद्य एवं पोषण विभाग तथा मनोविज्ञान विभाग द्वारा आंतरिक गुणवत्ता आश्वासन प्रकोष्ठ के संयुक्त संयोजकत्व में की गई।
कार्यक्रम का उद्देश्य विद्यार्थियों में रचनात्मकता, टीम भावना का विकास, वैश्विक संस्कृति की समझ तथा आनंदपूर्ण वातावरण का सृजन था। उल्लेखनीय है हैवोलीन उत्सव पाश्चात्य संस्कृति का एक नियमित हिस्सा है , वर्तमान मे भारतीय परिदृश्य मे भी यह प्रासंगिक हो रहा है, यही कारण रहा कि उक्त आयोजन की संकल्पना की गई।
कार्यक्रम का शुभारंभ संचालक मंडल की सदस्य शालिनी चंद्राकर द्वारा दीप प्रज्वलन तथा राज्य गान से हुआ। डॉ. सपना पाण्डेय एवं सुश्री विद्या चौहान ने स्वागत उद्बोधन दिया। समारोह के उद्देश्यो पर प्रकाश डाला। कार्यक्रम का संचालन साक्षी भांडेकर एवं कोनाल सेन ने किया। कार्यक्रम में 60 से अधिक प्रतिभागियों ने भाग लिया तथा 300 से अधिक विद्यार्थियों ने उत्साहपूर्वक उपस्थिति दर्ज की। प्रतिभागियों ने स्त्री, मंजुलिका, वेडनसडे एडम्स, नन, तांत्रिक आदि प्रसिद्ध हॉरर किरदारों को जीवंत रूप में प्रस्तुत किया। मंच पर स्केरिस्ट वॉक प्रतियोगिता और समूह प्रस्तुतियों ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया।
मुख्य अतिथि शालिनी चंद्राकर ने अपने उदबोधन में विद्यार्थियों की रचनात्मकता, उत्साह एवं टीमवर्क की प्रशंसा की तथा ऐसे आयोजनों को विद्यार्थियों के सर्वांगीण विकास के लिए महत्वपूर्ण बताया। प्रतियोगिताओं के विजेता प्रतिभागी प्रथम- मुस्कान (नर्सिंग विभाग), ललित कुमार (डी.एड.), द्वितीय- तनु (नर्सिंग), समृद्धि (बी.फार्मा 7वां सेम.), तृतीय- पुष्पेन्द्र (बी.फार्मा 7वां सेम.), लक्ष्य (नर्सिंग), दिया, समूह विजेता- यश एवं समूह (फॉरेंसिक साइंस), साक्षी एवं समूह (बी.फार्मेसी), सांत्वना पुरस्कार- आरती (नर्सिंग), लिखिल देशमुख (बी.फार्मा)। निर्णायक की भूमिका डॉ. शुभा तिवारी तथा सुचिता खराती ने निभाई। आभार प्रदर्शन डॉ. स्वाति पाण्डे, डीन स्टूडेंट्स वेल्फेयर ने किया।


