गौरेला-पेंड्रा-मरवाही, 17 जनवरी। जीपीएम पुलिस ने साइबर अपराध से निपटने और जन जागरूकता बढ़ाने के लिए अपने छठवें ऑनलाइन सत्र का आयोजन किया। इस सत्र में 2021 बैच के आईपीएस अधिकारी राकेश सिंह मुख्य वक्ता के रूप में शामिल हुए। राकेश सिंह ने झारखंड के जामताड़ा में अपने अनुभव साझा किए, जिसे साइबर अपराध का गढ़ माना जाता है।
सत्र का उद्घाटन जिला पुलिस अधीक्षक भावना गुप्ता ने किया। उन्होंने साइबर अपराध के बढ़ते खतरे और सुरक्षा उपायों पर जोर दिया। राकेश सिंह ने जामताड़ा में अपने कार्यकाल के दौरान साइबर अपराधियों की गतिविधियों और उनकी रणनीतियों पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि साइबर ठगी के लिए ओटीपी फ्रॉड, फिशिंग, फेक ऐप्स और फेक लिंक जैसे हथकंडे अपनाए जाते हैं। बच्चों और युवाओं को साइबर सुरक्षा के उपायों पर जागरूक करते हुए उन्होंने फेक लिंक से बचाव और डिजिटल सतर्कता के महत्व पर जोर दिया। मजबूत पासवर्ड का उपयोग और व्यक्तिगत जानकारी साझा करने में सतर्कता बरतने की सलाह दी गई। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर सतर्क रहने और संदिग्ध गतिविधियों की पहचान के तरीके बताए गए। साथ ही कुंभ मेले जैसे बड़े आयोजनों में फेक लिंक से बचने के उपायों पर भी चर्चा हुई।
आईपीएस राकेश सिंह ने बच्चों को अपने समुदाय में साइबर प्रहरी बनने की प्रेरणा दी। उन्होंने कहा, "साइबर जागरूकता केवल अपराध से बचाव का साधन नहीं, बल्कि समाज को साइबर सुरक्षित बनाने का कदम है।"
पुलिस अधीक्षक भावना गुप्ता ने कहा, "हमारे जिले के बच्चे भविष्य के साइबर प्रहरी हैं। इस सत्र के माध्यम से वे खुद को सुरक्षित रखने के साथ-साथ दूसरों को जागरूक करने में भी सक्षम होंगे।"
सत्र में 500 से अधिक बच्चों और युवाओं की भागीदारी रही।